किसानों के लिए वरदान बनी बारिश, युद्धस्तर पर जारी धान की रोपाई

punjabkesari.in Tuesday, Jun 19, 2018 - 12:44 PM (IST)

मानसा(जस्सल): पंजाब की कांग्रेस सरकार की तरफ से बेशक धान की पौध की रोपाई 20 जून से पहले न करने के सख्त आदेश जारी किए गए हैं, परन्तु मानसा जिले में हुई भारी बारिश के कारण जहां सरकारी सुर ठंडे दिखाई दे रहे हैं, वहीं किसानों की तरफ से सरकारी आदेशों को ठेंगा दिखाते बेरोक युद्धस्तर पर धान की पौध की रोपाई चल रही है। 

जानकारी के अनुसार मानसा जिले में हुई भारी बारिश के कारण किसानों ने युद्धस्तर पर धान की पौध की रोपाई तेज कर दी है, जबकि इससे पहले भी 10 जून से ही किसान जत्थेबंदियों के सख्त पहरे के नीचे किसानों की तरफ से धान की पौध की रोपाई का काम युद्धस्तर पर जारी किया हुआ है। बेशक पंजाब में विभिन्न स्थानों पर आगामी धान की पौध की लगवाई को लेकर कुछ किसानों पर केस भी दर्ज किए गए हैं परन्तु इस के बावजूद भी मानसा जिले में बेधड़क होकर किसानों की तरफ से धान की फसल लगाने का काम जंगी स्तर पर जारी है। बेशक किसानों की तरफ से सरकार के आदेशों को नजरअंदाज करते पहले ही धान की लगवाई शुरू कर दी थी परन्तु अब इंद्र देवता की तरफ से किसानों पर मेहरबान हो जाने कारण बड़े स्तर पर किसान धान की पौध की रोपाई में लग गए हैं, जिसको देखते अब कृषि विभाग भी किसानों खिलाफ कार्रवाई के मामले में बेबस दिखाई दे रहा है।

भारतीय किसान यूनियन उगराहां के जिला प्रधान राम सिंह भैणीबाघा ने कहा कि अगर बिजली के मामले को लेकर पंजाब सरकार ने किसानों से मुंह फेर लिया था तो अब इंद्र देवता किसानों पर मेहरबान हो गए। जब धान के लिए खेत व धान की फसल लगाने के लिए मजदूर तैयार हैं तो वह किस बात का इंतजार करते, जिस कारण किसानों की तरफ से धान की लगवाई का काम जंगी स्तर पर जारी है। उन्होंने दावा किया कि 20 जून तक करीब 25 प्रतिशत धान की लगवाई मानसा जिले में पूरी हो जाएगी। जम्हूरी किसान सभा के प्रांतीय नेता इकबाल सिंह फफड़े भाईके ने कहा कि भारी बारिश धान की लगवाई के लिए किसानों के लिए वरदान साबित होगी, क्योंकि समूचे खेतों में बारिश का पानी भर जाने कारण जहां यह फसल के लिए कारगर सिद्ध होगा, वहीं किसानों की आमदन में भी विस्तार होगा, क्योंकि भारी बारिश ने महंगे भाव वाले डीजल का उपभोग काफी कम कर दिया है। उन्होंने पंजाब सरकार से मांग की है कि मौसम में आई तबदीली देखते किसानों को धान की सिंचाई के लिए 16 घंटे निर्विघ्न बिजली की सप्लाई दी जाए, जिससे किसान अपना धान सही समय पर लगा सकें। 

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