जिला प्रशासन के दावे बुरी तरह फेल हुए साबित

punjabkesari.in Wednesday, Sep 12, 2018 - 01:05 PM (IST)

मानसा(मित्तल): मानसा शहर अंदर फिर से आवारा पशुओं की भरमार होने के कारण यह समस्या जैसे की वैसे बरकरार है। जिला प्रशासन के लाख यत्नों सदका इस समस्या को दूर करने के दावे बुरी तरह फेल साबित 7 हुए हैं। इस समस्या को लेकर शहर निवासियों में कई तरह की चर्चाएं चल रही हैं। 

मानसा शहर के हर बाजार व गली अंदर आवारा पशुओं के झुंड के झुंड बढऩे से पूरा शहर ही आवारा पशुओं का अड्डा बन गया है। और तो और आवारा पशुओं के साथ घोडिय़ां, घोड़े व गधियों के अलावा आवारा कुत्तों की भी कोई कमी नहीं, वे गैंगस्टरों की तरह शहर के अंदर घूमते हैं। अभी तक शहर निवासियों को इस समस्या के कम होने की कोई आशा नहीं बंध रही है। जिला प्रशासन ने 10 दिनों अंदर आवारा पशुओं को पकडऩे का लक्ष्य निश्चित किया था परन्तु इस समस्या को खत्म करने के लिए कोई ठोस कदम न उठाने के कारण समूचे प्रयास बुरी तरह फेल हो रहे हैं। 

प्रशासन के यत्न 
जिला प्रशासन ने मानसा शहर में आवारा पशुओं को पकड़ कर गौशालाओं में छोडऩे के लिए योजना बनाई थी। इसके तहत जिला प्रशासन ने गौशाला कमेटियों व शहर की प्रमुख शख्सियतों के साथ बैठक की थी। यह योजना बना कर शहर की अलग-अलग गौशालाओं में 10 दिनों में आवारा पशुओं को छोडऩे के लिए सरकार द्वारा कोटा तय किया था परन्तु यह मुहिम जितनी जोरों-शोरों के साथ शुरू हुई और उतनी बुरी तरह फेल साबित हुई। 

आवारा पशुओं ने गलियों व बाजारों पर किया कब्जा 
पूरे शहर में आवारा पशुओं के साथ गधियों, घोडिय़ों ने भी गलियों व बाजारों पर कब्जा किया हुआ है परन्तु छोटी मानसा, कचहरी रोड, बस स्टैंड चौक से तीनकोनी तक लिंक रोड पर रमदित्ते कैंचियां, मानसा कैंचियां, बारा हट्टा चौकके आस-पास के बाजार, गांधी स्कूल से चकेरियां वाले फाटक तक, प्रमुख रेलवे फाटक के पास सब्जी मार्कीट में, मूसा चुंगी रोड पर आवारा पशु फिर से भगदड़ मचा रहे हैं और आपस में लड़ते-भिड़ते देखे जा सकते हैं। इस समय पर आवारा पशु प्रेत बन कर सड़कों पर ट्रैफिक में विघ्न डाल कर सड़क हादसों का कारण बन रहे हैं। शहर निवासियों को अभी भी आवारा पशुओं के हमलों से बचने के लिए लाठियां हाथ में पकड़ कर चलना पड़ता है। 

क्या कहना है शहर निवासियों का 
शहर निवासियों का कहना है कि आवारा पशुओं की समस्या बहुत गंभीर होती जा रही है। शहर अंदर जब लोग सुबह घरों में से निकलते हैं तो आवारा पशु गोबर व पेशाब के साथ भरी गलियों के साथ उनका स्वागत करते हैं परन्तु जिला प्रशासन ने आवारा पशुओं की समस्या को हमेशा अनदेखा किया है। उन्होंने मांग की कि यदि पंजाब सरकार इस मसले का हल नहीं कर सकती तो शहर के लोगों को बिजली के बिलों पर वसूला ‘काऊ सैस’ तुरंत वापस करे।

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