पक्षियों को पानी पिलाने वाले बर्तनों में पाया जाता है लारवा

punjabkesari.in Tuesday, Sep 25, 2018 - 01:55 PM (IST)

मुक्तसर साहिब(तनेजा, खुराना, दर्दी): राष्ट्रीय वैक्टर बोर्न डिजीज कं ट्रोल कार्यक्रम व मिशन तंदरुस्त पंजाब के अधीन मच्छर के काटने से होने वाली बीमारियां जैसे मलेरिया, डेंगू, चिकनगुनिया व जिक्का वॉयरस से बचाने के लिए सिविल सर्जन डा. सुखपाल सिंह बराड़ के दिशा-निर्देश के अनुसार डा. रंजू सिंगला व डा. विक्रम असीजा जिला एपीडिमॉलोजिस्ट की अध्यक्षता में मच्छर न पैदा होने के आगामी प्रबंधों की कड़ी शुरू की हुई है। डेंगू के लक्षण पैदा होने पर नजदीक के सेहत केन्द्र या सेहत स्टाफ से संपर्क करना चाहिए। इस अवसर पर कुलवंत सिंह, शमशेर सिंह, अमनदीप सिंह, कुलविंद्र कौर, चरणजीत कौर, सुरेन्द्र कौर के अतिरिक्त स्कूल स्टाफ व विद्यार्थी उपस्थित थे।

‘प्रत्येक शुक्रवार को पानी के बर्तन को खाली कर जरूर सुखाएं’
गत दिवस सेहत विभाग की टीम जिनमें टीम इंचार्ज जिला हैल्थ इंस्पैक्टर भगवान दास, कुलविंद्र सिंह व बूटा सिंह द्वारा स्कूलों में रखे गमले, पक्षियों को पानी 
पिलाने वाले बर्तन, कूलर व अन्य खड़े पानी के स्रोतों की जांच की। एक सप्ताह से अधिक जमा हुए पानी के बर्तनों को खाली करवाया गया। टीम द्वारा जानकारी देते हुए बताया कि डेंगू, चिकनगुनिया फैलाने वाला मच्छर एक सप्ताह से अधिक जमा किए हुए साफ पानी के स्रोतों में पैदा होता है। इसलिए हमें प्रत्येक रविवार या शुक्रवार को पानी वाले बर्तन खाली करके सुखाने चाहिएं।  
 

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