DGP के सख्त निर्देशों के बावजूद लोकल पुलिस देर रात तक खुलने वाले शराब ठेकों पर क्यूं है मेहरबान

punjabkesari.in Saturday, Aug 29, 2020 - 04:39 PM (IST)

जलालाबाद (सेतिया, सुमित): मुख्मंत्री पंजाब कैप्टन अमरेन्द्र सिंह द्वारा डीजीपी पंजाब को निर्देश जारी करते हुए राज्य के विभिन्न जिला पुलिस मुखियों को देर रात खुलने वाले शराब ठेकों के खिलाफ कार्रवाई करने के आदेश जारी हैं लेकिन लगता है कि जलालाबाद में निर्धारित समय के बाद खुलने वाले शराब ठेकों के खिलाफ कार्रवाई हेतु लोकल पुलिस सख्त दिखाई नहीं दे रही। जिसकी मिसाल बीती रात शहर के विभिन्न स्थानों पर खुले ठेकों और चोर मोरी के रास्ते बेची जा रही शराब की बोतलों से देखने को मिली लेकिन हैरानी तब हुई जब पुलिस को सूचित करने के एक घंटा बाद भी पुलिस के मुलाजिम मौके पर नही पहुंचे। 

जानाकरी अनुसार पंजाब सरकार द्वारा कोरोना वायरस के बढ़ते केसों के मद्देनजर कर्फ्यू को लेकर नए नियम लागू किए हैं और जिसके तहत सायं 7 बजे से लेकर सुबह 5 बजे तक कर्फ्यू का समय निर्धारित किया गया है। लेकिन अगर प्रशासन की बात करें तो बजारों को बंद करवाने के लिए प्रशासन पूरी तरह सख्त नजर आ रहा है लेकिन शराब ठेकों पर प्रशासन की नजर क्यूं नहीं पड़ रही है और कई शराब के ठेकों के शटर बंद होने के बावजूद शटरों में छोटा सा रास्ता निकाल कर शराब की बोतलें बेची जा रही है। शुक्रवार को सायं करीब 7.15 बजे तक पत्रकारों ने अजान मंडी के गेट के समक्ष खुले शराब के ठेके की जानकारी थाना सिटी पुलिस को दी लेकिन, जानकारी देने के एक घंटे के बाद भी पुलिस वहां नहीं पहुंची और,आखिरकार इस की शिकायत जिला सीनियर पुलिस कप्तान को दी गई और उन्होंने थाना सिटी मुखी को मौके पर भेजने की बात कही। लेकिन इसके बावजूद भी थाना मुखी नहीं पहुंचे। यही बस नहीं रात करीब 9.30 बजे लेकर 10 बजे तक फाजिल्का रोड पर गुमानी वाला मोड़ पर ठेके खुले हुए थे। 

इस सबंधी समाज सेवी जसविंदर वर्मा का कहना है कि पुलिस सिर्फ दुकानदारों पर ही सख्ती करना जानती है क्योंकि सायं 6.30 बजते ही दुकानों के शटर बंद करवा दिए जाते है जबकि शहर तथा आस-पास क्षेत्र में शराब ठेके खुलने की शिकायत के बावजूद उनपर कार्रवाई नहीं होती। जिससे साफ है कि पुलिस का डंडा सिर्फ आम बजारों में चलाया जा रहा है और कोरोना के नियम सिर्फ आम दुकानदारों पर ही लागू किए जा रहे हैं। यह ही नहीं अकाली दल राज्य के अंदर शराब के मामले में सरकार को घेर रहा है और जलालाबाद के अंदर एक अकाली नेता के पास ही शराब ठेके हैं और आखिरकार देर सायं तक शराब के ठेके खुलना भी प्रशासन पर बड़ा सवाल खड़ा करता हैं। अगर रविवार के बाद सोमवार को सायं 6.30 बजे के बाद ठेके बद नही हुए तो उन्हें मजबूरन संघर्ष करना पड़ेगा जिसकी जिम्मेवारी प्रशासन की होगी।


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Mohit

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