मुक्तेश्वर धाम बचाने के लिए पहले 300 फुट लंबी दीवार न बनाई तो नहीं बनने देंगे शाहपुरकंडी बैराज

punjabkesari.in Wednesday, Sep 12, 2018 - 11:26 AM (IST)

जुगियाल (शर्मा): मुक्तेश्वर महादेव बचाओ समिति की बैठक धाम स्थल पर समिति अध्यक्ष गुलजार सिंह की अध्यक्षता में हुई। समिति अध्यक्ष गुलजार सिंह व चेयरमैन भीम सिंह ने बताया कि शाहपुरकंडी बैराज बांध का निर्माण कार्य 4 वर्ष बंद रहने के बाद फिर पंजाब व जम्मू-कश्मीर सरकार की सहमति से अक्तूबर माह से शुरू होने जा रहा है। 

उन्होंने कहा कि 5500 वर्ष पुराने पावन मुक्तेश्वर धाम (पांडव गुफाओं) को बैराज बांध की झील में समाने तथा इसके अस्तित्व को बचाने के लिए बैराज बांध प्रशासन ने अभी तक कुछ नहीं किया है। उन्होंने बताया कि 21 मार्च, 1995 में पंजाब सरकार ने अपने नोटीफिकेशन के माध्यम से स्पष्ट किया था कि बाबा मुक्तेश्वर धाम के साथ लगती 22 कनाल भूमि को बैराज बांध के लिए अधिग्रहित नहीं किया जाएगा तथा इस पावन स्थल को बचाने के लिए ठोस व्यवस्था भी की जाएगी परंतु 23 वर्ष बीत जाने पर भी बांध प्रशासन अभी तक कोई ठोस योजना को नहीं बना सका है। 

समिति ने बताया कि बैराज बांध पर करोड़ों रुपए व्यय हो चुके हैं और 4 साल काम बंद रहने के चलते पंजाब सरकार को करोड़ों का चूना लग चुका है परंतु केवल 300 फुट कंक्रीट की दीवार लगाने के लिए आए दिन टाल-मटोल की नीति अपनाई जा रही है।  समिति ने बैराज बांध प्रशासन को चेतावनी दी है कि यदि शीघ्र ही मुक्तेश्वर महादेव स्थल झील में समाने से बचाने के लिए 300 फुट लंबी व 65 फुट ऊंची दीवार की प्रोपोजल नहीं बनाई गई तो समिति शाहपुरकंडी बैराज बांध का निर्माण कार्य शुरू नहीं होंने देगी।  

बैराज का काम शुरू होने तक प्रोपोजल तैयार कर  ली जाएगी : एस.ई. हैडक्वार्टर  
इस संबंध में संबंधित अधिकारी एस.ई. हैडक्वार्टर सुधीर गुप्ता ने बताया कि अक्तूबर या नवम्बर तक उम्मीद है कि बैराज बांध का कार्य दोबारा शुरू हो सकता है। मुक्तेश्वर धाम को बचाने संबंधी उनसे पूछा गया तो उन्होंने बताया कि इस पावन धाम को बचाने के लिए कार्य चल रहा है और हर हाल में बैराज के काम शुरू होने तक इस पावन धाम को बचाने की प्रोपोजल तैयार कर ली जाएगी। उन्होंने कहा कि यह हजारों-लाखों शिव भक्तों की आस्था का केन्द्र है। इसको किसी हाल में भी झील में डूबने नहीं दिया जाएगा। 

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