थमने का नाम नहीं ले रहा फ्लैक्स पर निर्भया कांड के दोषी की तस्वीर का मामला

punjabkesari.in Sunday, Jul 21, 2019 - 08:00 PM (IST)

होशियारपुर (अमरेन्द्र): लोगों को मतदान के लिए प्ररित करने के लिए फ्लैक्स में लगी तस्वीर निर्भया कांड के दोषी मुकेश की है या नहीं यह तो जांच का विषय है लेकिन बीते दिनों सोशल मीडिया पर वायरल हुए ट्वीट होने के बाद सुर्खियों में छाया यह मामला थमने का नाम नहीं ले रहा। कैबिनेट मंत्री सुंदर शाम अरोड़ा के बाद अब रविवार को डी.सी.ईशा कालिया ने भी इस मामले की उच्च स्तरीय जांच के लिए ए.डी.सी.हरप्रीत सिंह सूदन को जांच अधिकारी नियुक्त कर इस मामले की विस्तृत रिपोर्ट 3 दिनों के अंदर पेश करने का निर्देश जारी कर दिया। ए.डी.सी.हरप्रीत सिंह सूदन ने इस विवादित मामले की जांच शुरू कर दी है।

आखिर किस स्तर पर हुई जिला प्रशासन से चूक
होशियारपुर में इस समय सुर्खियों में चल रहे इस विवाद को लेकर चौकचचौराहों पर लोग पूचने लगे हैं कि आखिर जिला प्रशासन ने निर्भया कांड के दोषी मुकेश को कैसे रोल मॉडल बना फ्लैक्स में तस्वीर लगवा दी। जिला प्रशासन से आख्रि यह चूक किस स्तर पर व किसकी वजह से हुई है को लेकर मामले ने अब तूल पकड़ लिया है। हैरानीवाली बात तो यह कि इसी साल 26 जनवरी को पुलिस लाइन्स में हुई गणतंत्र दिवस पर निकाली गई झांकी में भी यह फ्लैक्स लगी हुई ती। समारोह में मुख्यातिथि के तौर पर महामहिम राज्य के गर्वनर बी.पी.सिंह बदनौर शामिल हुए थे व समारोह में जिले के तमाम प्रशासनिक अधिकारी व कर्मचारी के अलावे गणमान्य नागरिक भी शामिल हुए थे। ऐसे में प्रशासन की तरफ से इस मामले में पल्ला झाडऩा किसी के गले नहीं उतर रहा है।

शहर के ही किसी शख्सियत को बनाते रोल मॉडल 
मामले को तूल पकड़ते देख अब हर कोई जिला प्रशासन पर सवालिया निशान लगा पूछ रहे हैं कि निर्भया कांड के दोषी मुकेश को आखिर क्यों रोल मॉडल की तरह पेश किया गया। अगर प्रशासन ने किसी को रोल मॉडल बनाना ही था तो वह होशियारपुर के किसी कलाकार,किसी नामी व्यक्ति, स्कूल, यूनिवर्सिटी टॉपर किसी उच्च अधिकारी, बड़े इंडस्ट्रीलिस्ट या जिलें की किसी भी प्रमुख शख्सियत को रोल मॉडल की तरह ले सकते थे परंतु इन तस्वीरों में से कोई भी होशियारपुर से संबंधित नहीं लगता। 

जवाब का इंतजार, अभी भी सुलग रहे हैं कई सवाल
अब सवाल उठता है कि यदि फ्लैक्स में लगी तस्वीर जिसे अब मिनी सचिवालय परिसर से हटा दिया गया है पर निर्भया कांड के दोषी मुकेश की ही तस्वीर है या उससे मिलता जुलता किसी और के का जवाब जिला प्रशासन के सामने मुंह बाये खड़ा है। यदि तस्वीर सही है तो आखिर निर्भया कांड के आरोपी मुकेश की तस्वीर किसने उपलब्ध करवाई? क्या किसी भी अधिकारी ने पोस्टर बनने से पहले प्रूफ की जांच किया ता या नहीं, यदि किया था तो उससे इतनी बड़ी चूक कैसे हो गई। क्या किसी ने साजिश के तहत तस्वीर के साथ छेड़छाड़ तो नहीं कर दी? ऐसे तमाम प्रश्नों के जवाब पर आधारित रिपोर्ट जारी होने के बाद ही मामला शांत होगा।

Mohit