उधार पर खरीदे सामान का 6 माह तक भुगतान न होने पर ब्याज समेत लौटाना होगा ‘इनपुट टैक्स क्रैडिट’

punjabkesari.in Saturday, May 25, 2019 - 11:49 AM (IST)

जालंधर(विनीत, शीतल): इंस्टीच्यूट ऑफ चार्टर्ड अकाऊंटैंट्स की जालंधर शाखा ने जी.एस.टी. की वार्षिक रिटर्न व ऑडिट पर सैमीनार का आयोजन किया, जिसमें सी.ए. संजीव सिंघल, सी.ए. नव्या मल्होत्रा व सी.ए. आदित्य अग्रवाल बतौर मुख्य वक्ता थे। 

उन्होंने कहा कि इस वर्ष व्यापारियों को जी.एस.टी. ऑडिट करवाना पड़ेगा, सी.ए. मैंबर्स को जी.एस.टी. ऑडिट रिपोर्ट अभी से तैयार करने का काम स्टार्ट करना होगा, जी.एस.टी. वाॢषक रिपोर्ट की अंतिम तिथि 30 जून, 2019 है। उन्होंने बताया कि ऑडिटर को सुनिश्चित करना होगा कि सेल पर सही जी.एस.टी. रेट लगा होने के साथ-साथ रिटर्न भी सही तरह से भरी हुई हो। विशेषज्ञों ने बताया कि व्यापारी यदि उधार से सामान खरीदता है, तो उसका भुगतान 6 महीनों में करना जरूरी है, ऐसा न करने पर उसको सामान पर लिया हुआ इनपुट टैक्स क्रैडिट की राशि को ब्याज सहित लौटाना पड़ेगा। ऑडिटर को यह भी सुनिश्चित करना होगा कि कोई भी भुगतान 6 महीने से अधिक समय में न किया गया हो, अगर किया है तो जी.एस.टी. क्रैडिट वापस  किया होना चाहिए। सी.ए. नव्या ने बताया कि वाहन की खरीद, रेस्तरां का बिल, बिल्डिंग बनाने का खर्च, निजी खर्च आदि चीजों पर जी.एस.टी. क्रैडिट नहीं लिया जा सकता, इन सभी जी.एस.टी. क्रैडिट को रिटर्न में रिवर्स करना जरूरी है।

यदि सामान बेचने वाले ने जी.एस.टी. नहीं जमा करवाया है तो उसका क्रैडिट लेने में उसे दिक्कत हो सकती है, इसलिए यह जरूरी है कि किसी नए व्यापारी से व्यापार करने से पहले उसका जी.एस.टी. नंबर ऑनलाइन चैक कर लिया जाए। जालंधर शाखा के चेयरमैन सी.ए. उमेश दादा ने सभी रिसोर्सपर्सन्स का आभार व्यक्त करते हुए उन्हें स्मृति चिन्ह भेंट किए।  इस अवसर पर सचिव गुरलीन सिंह, वाइस चेयरमैन पीयूष बांसल, कोषाध्यक्ष सोनिया, सलिल गुप्ता, नरिन्द्र विग, शशि भूषण, सुमित अरोड़ा, विनय जिंदल, अश्विनी जिंदल, साहिल रस्तोगी, प्रवीण सेठी, नवनीत सेठी, अजय दूबे, संचिता, स्वाति, अंशुल, अरुण अरोड़ा, अनिल सेठ, कुनाल कपूर, नवदीप शर्मा, गगन व अन्य सदस्य भी मौजूद थे। 

‘ऑनलाइन परचेज को अपनी परचेज के साथ मैच करना जरूरी’
सी.ए. संजीव सिंघल ने बताया कि जब कोई विक्रेता अपनी जी.एस.टी. रिटर्न भरता है तो सभी बिल खरीदने वाला व्यापारी उन्हें अपने अकाऊंट में ऑनलाइन चैक कर सकता है। ऑनलाइन परचेज रिपोर्ट को अपने अकाऊंट की परचेज के साथ मैच करना भी जरूरी है। उन्होंने बताया कि किसी रिटर्न में कोई गलती होने पर उसे अगले महीने की रिटर्न में ठीक किया जा सकता है, जी.एस.टी. रिटर्न भरना भी बहुत जरूरी है। यदि कोई भी व्यापारी 6 महीने तक रिटर्न नहीं भरता तो उसका जी.एस.टी. नंबर रद्द भी हो सकता है। 

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