जालंधर शहरी भाजपा टीम के गठन से ग्रामीण टीम प्रभावित होने के आसार

punjabkesari.in Monday, Jun 15, 2020 - 03:01 PM (IST)

जालंधर(राहुल): कांग्रेसी विधायकों व मेयर की खींचतान को अपना हथियार बनाकर भाजपा नेताओं द्वारा की गई पत्रकारवार्ता से शहर में कई चर्चाओं को जन्म दिया है। जहां भाजपा नेताओं ने पंजाब सरकार की कारगुजारियों व निगम प्रशासन पर उंगली उठाई है, वही भाजपा के अंदर की गुटबाजी को भी उभार दिया है। ऐसे जालंधर शहरी भाजपा टीम के गठन से ग्रामीण टीम बनाने का काम भी प्रभावित होगा। वहीं कुछ दिग्गज अपने चेहतों को एडजस्ट करवाने के लिए सक्रिय हो गए हैं।   

जिला टीम गठन में अटकलों का दौर जारी
नवनियुक्त युवा भाजपा जिलाध्यक्ष सुशील शर्मा की घोषणा के बाद जहां पिछले समय से चल रहीं गुटबाजी ओर अंकुश लगने की आस बंधी थी, को भी धक्का लगा है। जिलाध्यक्ष की दौड़ में अग्रणी रहे एक नेता ने नाम न छापने की शर्त पर कहा कि जिला टीम का  गठन कितना प्रभावी होगा, इसकी कलाई अब खुलने लगी है, करीब 20 दिन बीतने के बावजूद भी अभी तक टीम के गठन पर कोई सहमति नहीं बन पाई है। समविचारक संगठन भी टीम गठन में अपना सक्रिय सहयोग/ निर्देश देने से कतरा रहे है। विभिन्न क्षेत्रों में भाजपा की नीतियों के प्रति सजग रूप से कार्यरत पदाधिकारी, कार्यकत्र्ता, पार्षद व समविचारक सहयोगी अपने आप को क्षेत्रविशेष में सीमित रख रहे हैं।   

विधायक बनने के इच्छुक भी हुए सक्रिय
आगामी 2022 के विधानसभा चुनाव में अपनी ताल ठोकने के इच्छुकों की नजरें भी शहरी टीम के गठन पर टिकी हुई है। प्रदेश टीम में एडजस्ट हो चुके नेता भी वर्तमान स्थिति पर लगातार चुप्पी साधे हुए है। सूत्रों की माने तो भाजपा ग्रामीण का एक शीर्षथ पदाधिकारी भी अपना पद छोड़कर जालंधर शहरी टीम में शामिल होने के लिए सक्रिय है। क्योंकि वह लम्बे समय से विधायक बनने का स्वप्न देख रहा है। सूत्रों की माने तो सबसे अधिक नेताओं की नजर जालंधर के केंद्रीय व उत्तरी विधानसभा क्षेत्रों पर लगी है, जालंधर दक्षिण व अकाली दल से नीतिगत सुधारों के पश्चात जालंधर छावनी क्षेत्र के लिए भी कई अपना पहला दांव खेलने की फिराक में जातिगत समीकरणों का खाका तैयार कर रहे हैं। 

हारे दिग्गज भी लगे बिसात बिछाने 
पिछले चुनावों के  हारे दिग्गज अभी से अपनी राजनीतिक बिसात बिछाने के लिए अपने अपने चहेतों को जिला टीम में एडजस्ट करवाने में सक्रिय हो गए है। पिछले करीब 2 सप्ताह के अंतराल में गठित विभिन्न समितियों में इनकी झलक दिखाई भी देने लगी है।  

पूर्व भाजपा मेयरों की अनुपस्थिति बनी रहस्य चर्चा
निगम प्रशासन की बदहाली का सहारा लेकर की गई पत्रकार वार्ता में अपने ही 2 पूर्व मेयरों की अनुपस्थिति, प्रदेश टीम के सदस्यों, अपने ही विजयी पार्षदों की अनुपस्थिति की भी चर्चा नए समीकरणों की ओर इशारा कर रही है। 


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Vaneet

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