कोठी पर कब्जा करने के बाद शशि ने पिस्तौल दिखाकर चिट्टे का केस डलवाने की दी थी धमकी

punjabkesari.in Wednesday, Dec 12, 2018 - 11:35 AM (IST)

जालंधर(रमन/ वरुण): हॉलैंड में रह रहे एन.आर.आई. ने सी.एम. पंजाब से लेकर होम सैक्रेटरी, सी.पी. व डी.सी. को शशि शर्मा के कारनामों की शिकायत की है। शिकायत के बाद एन.आर.आई. महिन्द्र सिंह व उसकी पत्नी सर्बजीत कौर ने जालंधर आकर शशि खिलाफ प्रैस कान्फ्रैंस करके गंभीर आरोप लगाए हैं।

गुरदासपुर निवासी महिन्द्र सिंह ने बताया कि वह हॉलैंड में प्राइवेट जॉब करता था और उसकी पत्नी भी उसके साथ ही रहती थी। 2006 में उसने रविंद्र नगर में 9 मरले की कोठी अपनी पत्नी सर्बजीत कौर के नाम खरीदी थी। जब भी वे हॉलैंड से यहां आते तो इसी कोठी में रहते थे। कोठी ज्यादातर बंद रहने के कारण उन्होंने उसे किराए पर देनी की सोची और अपने समधी सूबेदार अजीत सिंह को अटार्नी बनाकर कोठी सोमनाथ नामक व्यक्ति को 20 हजार रुपए प्रति माह के हिसाब से किराए पर दे दी।

कुछ समय बाद जब अजीत सिंह कोठी में चक्कर लगाने आया तो कोठी के बाहर उसने शशि शर्मा के नाम का बोर्ड लगा देखा। कारण पूछने पर सोमनाथ ने कहा कि शशि शर्मा अपना घर बना रहा है जिसकारण कुछ समय के लिए वह इसी कोठी में रहेगा। अजीत सिंह ने उससे (महिंद्र से) बात की तो उसे शशि को वहीं रहने की इजाजत दे दी। कुछ समय बाद जब कोठी खाली करने को कहा तो शशि ने कहा कि उसकी बेटी की शादी है जिसके कारण 2 माह तक वह एग्रीमैंट कर दे, इसी दौरान वह पैसे भी दे देंगे। 

गली में भी न दिखाई देने की दी चेतावनी 
इसी दौरान शशि शर्मा ने 16-16 हजार के अपने बैंक के 2 चैक दे दिए लेकिन वे बाऊंस हो गए। 20 हजार रुपए प्रति माह किराया तय होने पर उसमें से भी 4-4 हजार रुपए कम दिए गए और वे चैक भी बाऊंस हो गए। इसके 5 माह बीत जाने के बाद भी किराया नहीं मिला। मङ्क्षहद्र ने कहा कि उनकी बेटी की मैरिज थी जिसके चलते वह जनवरी-2013 को भारत आए और शशि शर्मा के मोता सिंह नगर स्थित दफ्तर में चले गए। जब उन्होंने शशि से कोठी खाली करने को कहा तो उसने अपने दराज में से पिस्तौल निकाल कर टेबल पर रखी दी और चिट्टे का पर्चा डलवाने से लेकर पासपोर्ट जब्त करवाने की धमकी दी। उसने यह भी कहा कि जिस जगह पर उनकी कोठी है, वह उस गली में भी दिखाई न दे। 

थाने में आरोपी को दी कुर्सी, शिकायतकत्र्ता को रखा खड़ा
इसी दौरान उन्होंने एन.आर.आई. थाने में शिकायत दी। पुलिस ने सोमनाथ को थाने में बुलाया लेकिन शशि को तलब नहीं किया। उन्हें खड़ा रखा गया जबकि सोमनाथ को पुलिस ने बैठने के लिए कुर्सी दे दी। 2 बार शिकायत देने पर पुलिस ने शशि के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं थी जबकि लगातार मिल रही धमकियों के कारण वह वापस हॉलैंड चले गए। इसी परेशानी के चलते उनका एक्सीडैंट हो गया। शशि के डर से वह स्वदेश भी नहीं आए। नौकरी चली जाने के बाद 5 दिसम्बर को वह भारत वापस आ गए और शशि के खिलाफ सी.एम. पंजाब, होम सैक्रेटरी, सी.पी. व डी.सी. जालंधर को शिकायत दर्ज करवाई है। यहां पर खुद की कोठी होते हुए वह रिश्तेदारों के यहां रहने को मजबूर हैं। अगर उन्हें या उनके परिवार को कुछ होता है तो उसका जिम्मेदार शशि शर्मा व उसका सारा नैटवर्क ही होगा। महिंद्र ने शशि शर्मा से जान का खतरा भी बताया है।

65 साल के महिंद्र सिंह बोले-जालंधर की कोठी में बतानी थी बाकी जिंदगी 
प्रैस कान्फ्रैंस करते हुए 65 साल के  महिंद्र सिंह भावुक हो गए।उन्होंने कहा कि हॉलैंड में खून-पसीने की कमाई करके उन्होंने जो पैसे जोड़े थे, उसमें कुछ और पैसे डालकर जालंधर में 9 मरले की कोठी ली थी। सोचा था कि हॉलैंड से वापस आकर जालंधर में बाकी की जिंदगी सुकून से जीएंगे लेकिन उससे पहले ही शशि शर्मा ने उनका सुकून छीन लिया। लोकल पुलिस ने इस तरह के लोगों को सिक्योरिटी दे रखी है। ह्यूमन राइट्स से जुड़े शशि शर्मा को लोगों की सुनवाई करनी चाहिए थी लेकिन वह तो लोगों को ठग रहा है।

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