सिद्धू की सख्ती से पहले निगम अफसरों को क्यों नजर नहीं आए अवैध निर्माण

punjabkesari.in Tuesday, Jun 19, 2018 - 06:34 PM (IST)

लुधियाना(हितेश): जोन-सी के बाद सोमवार को जोन-ए, बी व डी के इलाकों में बन रही अवैध बिल्डिंगों व कालोनियों पर कार्रवाई हुई। इसके तहत एक दर्जन से ज्यादा अवैध निर्माणों पर बुल्डोजर चलाने के अलावा 8 जगह सीलिंग कर दी गई। इस एक्शन को लोकल बॉडीज मंत्री नवजोत सिद्धू द्वारा गत दिनों जालंधर में अफसरों को सस्पैंड करने के बाद लुधियाना में भी अवैध निर्माणों की चैकिंग के लिए दबिश देने बारे किए गए ऐलान से जोड़कर देखा जा रहा है। 

इस कार्रवाई से बड़ा सवाल यह खड़ा हो गया है कि निगम अफसरों को सिद्धू की सख्ती से पहले ये अवैध निर्माण नजर क्यों नहीं आए? अगर नियमों की बात करें तो बिना मंजूरी के बन रही बिल्डिंगों का निर्माण ग्राऊंड लैवल पर ही रुकवाने की जिम्मेदारी नगर निगम के अफसरों की बनती है। ऐसे में यह कहा जा सकता है कि ड्यूटी निभाने की जगह बिल्डिंग ब्रांच के अफसरों ने कथित मिलीभगत कर अवैध निर्माण करवाए। अब सिद्धू की आंखों में धूल झोंकने के लिए सैटिंग या सिफारिश के बिना बन रही कुछ बिल्डिंगों को निशाना बनाने के बावजूद अफसरों का सिद्धू के डंडे से बचना मुश्किल है। 

 

इन इलाकों में हुई कार्रवाई
जोन ए बहादुरके रोड :
नक्शा पास करके बन रहे 2 इंडस्ट्रियल यूनिटों में फ्रंट हाऊस लेन की जगह पर हो रहा अवैध निर्माण तोड़ दिया गया।

फील्ड गंज कुचा नं. 11 व चौड़ा बाजार: पुरानी दुकानों की आड़ में बन रही बिल्डिंगों को सील कर दिया गया, जिनको नक्शा पास करवाने तक निर्माण बंद करने के नोटिस दिए जा चुके थे।

शिव पुरी के साथ लगते जसवंत नगर एरिया : टी.पी. स्कीम एरिया में बन रही इंडस्ट्रियल बिल्डिगों के पिल्लर तोड़ दिए गए। उन बिल्डिंगों का निर्माण पहले रुकवाया गया था, लेकिन मंजूरी के लिए नक्शे जमा नहीं करवाए गए।

बस्ती जोधेवाल चौक स्थित कालोनी लक्की एन्क्लेव : मंजूरशुदा हिस्से से ज्यादा प्लाटिंग करके बनाई गई सड़कों व मकानों को तोड़ दिया गया। यह एरिया पहले जी.टी. रोड के प्रतिबंधित एरिया में आता था और लोगों ने उनको मंजूरशुदा कहकर प्लाट बेचे हैं। इस कालोनी के प्रतिनिधि ने नगर निगम में तैनात रहे पूर्व अधिकारी की सहमति होने का दावा स्टाफ के सामने किया है।

जोन बी : ताजपुर रोड पर डम्प के साथ-500 मीटर तक निर्माण के लिए प्रतिबंध लगा होने के बावजूद कई फैक्टरियां बनकर चल रही हैं और कइयों का निर्माण जारी है, जिनमें से 6 यूनिट सील कर दिए गए और 2 स्ट्रक्चरों पर बुल्डोजर चला दिया गया।

जोन डी : घुमार मंडी में पार्क के सामने तंग गली में बन रही मार्कीटनुमा 10 दुकानों का कुछ हिस्सा तोडऩे के नाम पर खानापूर्ति की गई है। जबकि पार्किंग के लिए कोई जगह न छोडऩे कारण यह निर्माण नॉन कम्पाऊंडेबल कैटेगरी में आते हैं। 

सिल्वर कुंज कालोनी निवासियों ने कमिश्नर से मिलकर मांगी सुविधाएं
जालंधर बाईपास के समीप स्थित सिल्वर कुंज कालोनी के निवासियों ने नगर निगम कमिश्नर से मिलकर सुविधाएं मुहैया करवाने की मांग की है। इस मौके पर अकाली नेता विजय दानव, कौंसला दिव्या, प्रधान अनिल नैयर मुख्य रूप से मौजूद थे। उन्होंने बताया कि नगर निगम की लिमिट में पड़ती यह कालोनी पुडा से मंजूर करवा कर बनाई गई थी। लेकिन काफी देर से इस कालोनी को नगर निगम के पास ट्रासंफर करने का मामला लटका हुआ है। इसके तहत डिवैल्पमैंट चाॢजस भी ट्रांसफर किए जा चुके हैं। जबकि नगर निगम के अधिकारी यह राशि कम होने के अलावा उन पर पहले सारे विकास कार्य नए सिरे से करवाने व उनकी 5 साल तक मैंटीनैंंस करने की शर्त लगा रहे हैं। इसके मद्देनजर कालोनी में पानी-सीवरेज, सडकों, स्ट्रीट लाइटों व सफाई की सुविधा नगर निगम की तरफ से मुहैया करवाने की मांग की गई है। लोगों ने रिहायशी इलाके में फ्लैट बनाने के लिए मार्क जगह पर बन रही फैक्टरी पर जोन ए की बिल्डिंग ब्रांच के अफसरों द्वारा कार्रवाई न होने का मुद्दा भी उठाया।

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