भारत-चीन की हिंसक झड़प में 23 वर्षीय गुरतेज सिंह शहीद, 2 साल पहले ही फौज में हुए थे भर्ती

punjabkesari.in Wednesday, Jun 17, 2020 - 04:01 PM (IST)

बुढलाडा (बांसल): लद्दाख़ की गलवान घाटी में सोमवार रात को भारत और चीन फौजियों बीच हुई हिंसक झड़प में देश के 20 जवान शहीद हो गए। इनमें से 1 बुढलाडा हलके गाँव बीरेवाल डोगरा के गुरतेज सिंह (22) पुत्र विरसा सिंह भी शामिल है। जिस ने हमेशा देश को परिवार से पहले रखा। इसी कारण गुरतेज सिंह अपने बड़े भाई गुरप्रीत सिंह उर्फ गोपी के विवाह में शामिल नहीं हो सका था। 

20 दिन पहले हुई थी माता -पिता के साथ बात
गुरतेज सिंह ने आखिरी बार 20 दिन पहले परिवार के साथ फ़ोन पर बात की थी और बताया थी कि हमें सरहद पर ले जाया जा रहा है। इसलिए इसके बाद गुरतेज का परिवार के साथ संपर्क नहीं हो सका था। आखिरी बार फ़ोन काल पर गुरतेज की परिवार के साथ लंबी बात हुई थी और उस ने कहा थी कि आप मेरी चिंता न करना। गुरतेज ने भाई गुरप्रीत के विवाह की बात करते कहा था कि वह जल्द आऐगा और घर में नई भाभी को भी मिलेगा।

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परिवार में सब से छोटा था गुरतेज
पिता विरसा सिंह ने बताया कि गुरतेज सबसे छोटा था। उसकी शुरू से ही देश की सेवा करने की इच्छा थी, जो दो साल पहले ही फ़ौज में भर्ती होने से पूरी हुई थी। तीन भाइयों में शहीद गुरतेज सिंह सबसे छोटा भाई था। 

पिता ने दी शहादत की खबर
गुरतेज सिंह के शहीद होने की ख़बर उनके पिता विरसा सिंह को आज सुबह प्राप्त हुई। परिवार को यह सूचना जम्मू -कश्मीर से आए मोबायल फोन कॉल के जरिए प्राप्त हुई कि आपका गुरतेज सिंह शहीद हो गया। गुरतेज के शहीद होने की ख़बर सुनते ही परिवार टूट गया और उनकी माता प्रकाश कौर बेहोश हो गई। घर में भाई गुरप्रीत सिंह के विवाह का माहौल गम में बदल गया। खबर इलाके में आग की तरह फैल गई। गाँव के पंच सुरजीत सिंह ने बताया कि शहीद फ़ौजी की मृतक देह आने के बाद ही अंतिम संस्कार किया जायेगा। इस मौके एसएसपी भी परिवार को सांत्वना देने पहुंचे।


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Edited By

Tania pathak

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