कोरोना की तीसरी लहर की तैयारी: केंद्र ने इमरजेंसी क्रेडिट लाइन गारंटी स्कीम 4.0 का दायरा बढ़ाया

punjabkesari.in Sunday, May 30, 2021 - 07:55 PM (IST)

देश में कोविड-19 के मौजूदा हालात को देखते हुए केंद्र सरकार ने बड़ा कदम उठाया है। इसके तहत सरकार ने इमरजेंसी क्रेडिट लाइन गारंटी स्कीम (ECLGS) का दायरा फिर बढ़ा दिया है। इस स्कीम में अधिकतम अवधि 60 महीने कर दी गई है। ब्याज की रीपेमेंट शुरुआत के 24 महीने तक ब्याज और प्रिसिंपल अगले 36 महीने में देने का प्रावधान किया गया है। साथ ही पब्लिक सैक्टर बैंकों को कोविड लोन बुक तैयार करने को कहा है। सरकार के इस कदम को कोरोना की तीसरी लहर से निपटने की बड़ी तैयारी के रूप में देखा जा रहा है। इससे बड़ी संख्या में लोगों या छोटी फर्मों को बड़ी राहत मिलेगी। रविवार को एसबीआई के चेयरमैन दिनेश खाराऔर इंडियन बैंक एसोसिएशन के चेयरमैन राजकिरण राय ने संयुक्त प्रैस कॉन्फ्रेंस करके इस बात की जानकारी दी।

महामारी के दौर से निपटने के लिए 5 मई को RBI ने कई घोषणाएं की थीं, जिनमें 50 हजार करोड़ रुपए की कोविड लोन बुक और हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर में लगी इकाइयों को वित्तीय सहायता देने के प्रावधान किए थे। इकसे बाद सरकार ने देश में हैल्थ इंफ्रस्ट्रक्चर को विक्सित करने के लिए  ECLGS का दायरा बढ़ाया। इस स्कीम में महामारी के इस दौर में हैल्थ सर्विसेस को बढ़ाने के उपायों  पर फोकस किया गया है। 

देश में हैल्थकेयर इंफ्रास्ट्रक्चर को विक्सित करने के लिए इन तीन श्रेणियों के तहत वित्तीय सहायता दी जाएगी।

 

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-ऑक्सीजन प्लांट लगाने के लिए
- स्वास्थ्य सेवाओं और सुविधाओं को शुरु करने और विक्सित करने के लिए
-  कोरोना के इलाज के लिए पर्सलन लोन

ऑक्सीजन प्लांट लगाने के लिए 2 करोड़ तक का लोन

ECLGS स्कीम के तहत अस्पताल, नर्सिंग होम, क्लीनिक या मेडिकल कॉलेजों में ऑक्सीजन प्लांट लगाने के लिए  2 करोड़ रुपए तक का लोन दिए जाने का प्रावधान है। इस लोन पर सरकार की तरफ से 100 फीसदी गारंटी दी जाएगी। इस पर बयाज दर भी 7.5 फीसदी से ज्यादा नहीं होगी। सरकार ने यह कदम देश में ऑक्सीजन की उपलब्धता बढ़ाने के लिए उठाया है।  ‌इस बिजनेस लोन को भी आगे तीन श्रेणियों में बांटा गया है— 
•10 लाख तक का लोन
•10 लाख से 10 करोड़ तक
•10 करोड़ से ऊपर
 
इंफ्रास्ट्रक्चर के लिए 100 करोड़ तक का लोन

इसके बाद हैल्थ केयर इंफ्रास्ट्रक्चर को स्थापित करने, हेल्थ केयर सुविधाएं देने, मैन्युफैक्चरिंग और इस तरह के सैटअप को बढ़ाने के लिए 100 करोड़ तक का लोन देने का प्रावधान है। इसमें अस्पताल, नर्सिंग होम, क्लिनिक, डायग्नोस्टिक सेंटर और पैथालॉजी लैब्स स्थापित करने में वित्तीय सहायता दी जाएगी। 

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कोरोना के इलाज के लिए पर्सनल लोन

कोविड महामारी से निपटने के लिए इसमें कोरोना के इलाज के लिए 25 हजार से लेकर 5 लाख रुपए तक के पर्सनल लोन का प्रावधान भी रखा गया है। इसके तरत कोई भी व्यक्ति अपने या परिवार के किसी सदस्य को कोरोना के इलाज के लिए कोविड लोन ले सकेगा। इसकी अवधि 5 साल होगी और यह भी सस्ती दरों पर ही मिलेगा।  उक्त सभी स्कीमें सभी पब्लिक सैक्टर बैंकों में कम बयाज दरों पर उपलब्ध रहेंगी। 

कोरोना से लड़ाई में मिलेगी मदद
 

जानकारों को अनुसार सरकार ने कोरोना से लड़ाई में मदद के लिए यह महत्वपूर्ण कदम उठाया है। इससे अस्पतालों और नर्सिंग होम संचालकों को ऑक्सीजन प्लांट लगाने के लिए आसानी से और सस्ती दरों पर लोन मिल जाएगा। दरअसल कोरोना की दूसरी लहर में ऑक्सीजन की कमी के कारण मरीजों और उनके परिजनों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ा है। कई राज्य सरकारों ने भी अस्पतालों और नर्सिंग होम में ऑक्सीजन प्लांट को अनिवार्य किया है। 

कोविड की दूसरी लहर से इकोनॉमी एक्टिविटी पर काफी असर

एस.बी.आई.  के चेयरमैन दिनेश खारा ने कहा कि कोविड की दूसरी लहर से इकोनॉमी एक्टिविटी पर काफी असर पड़ा है. SME पर तो बुरा असर पड़ा है। उनके अनुसार रिजर्व बैंक के 5 मई के सर्कुलर में कई राहत देने की कोशिश की गई है। खारा के मुताबिक स्कीम की मियाद 30 सितंबर तक जारी रहेगी एसबीआई चेयरमैन के अनुसार  स्टेट बैंक की ECLGS स्कीम में 2000 करोड़ के लोन बांटने का टारगेट है। इस स्कीम के तहत 2,45,000 करोड़ का लोन अभी तक दिया गया है। IBA चैयरमैन राजकिरण राय के अनुसार अप्रैल में क्लेक्शन में ज्यादा असर नहीं दिखा लेकिन मई महीने में क्लेक्शन पर इसका असर दिखा है। रीस्ट्रक्चरिंग का मौका रिटेल लोन धारकों को दिया जा रहा है.


ECLGS 1.0 में लोन ले सकते हैं योग्य कर्जदार

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आरबीआई की 5 मई 2021 की रि-स्ट्रक्चरिंग गाइडलाइंस के अनुसार योग्य कर्जदार ECLGS 1.0 के तहत लोन ले सकते हैं। इसके तहत 4 साल की अवधि के लिए लोन लेने वालों को पहले 12 महीने केवल ब्याज का भुगतान करना होगा। जबकि बाद के 36 महीने ब्याज और प्रिंसीपल अमाउंट का भुगतान करना होगा। स्कीम के तहत जो कर्जदार 5 साल के लिए कर्ज लेने के लिए योग्य हैं, उनको पहले 24 महीने केवल ब्याज का भुगतान करना होगा। वहीं, बाद के 36 महीने में ब्याज और प्रिंसीपल अमाउंट का भुगतान करना होगा।

क्या है ECLGS

ECLGS की शुरुआत वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कोरोना वायरस महामारी और लॉकडाउन के कारण कारोबारों पर पैदा हुए संकट को कम करने के लिए मई 2020 में की थी। अर्थव्यवस्था को सहारा देने के लिए पीएम मोदी ने 20 लाख करोड़ रुपए के आत्मनिर्भर भारत पैकेज की घोषणा की थी। इस पैकेज के तहत ही सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उपक्रमों के लिए 3 लाख करोड़ रुपए की इमरजेंसी क्रेडिट लाइन गारंटी योजना शुरू की गई थी। इस योजना का उद्देश्य सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों (MSMEs), व्यावसायिक उद्यमों, तथा मुद्रा योजना (MUDRA Yojana) के उधारकर्त्ताओं को पूरी तरह से गारंटी व गारंटी फ्री लोन प्रदान करना है।
 


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Content Editor

N Navrahi

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