18 डिपुओं के पनबस कर्मियों ने किया 150 बसों का चक्का जाम

punjabkesari.in Tuesday, Jun 26, 2018 - 12:26 AM (IST)

अमृतसर (सुमीत) : पंजाब सरकार व ट्रांसपोर्ट विभाग की विरोधी नीतियों के रोष स्वरूप पनबस वर्करों ने 18 डिपूओं में से एक भी बस को सड़क पर नहीं दौडऩे दिया। इस एक दिवसीय हड़ताल से जहां पंजाब सरकार को करोड़ों का नुक्सान झेलना पड़ा, वहीं यात्रियों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा। अमृतसर-1 व अमृतसर-2 के पनबस वर्करों ने हड़ताल को पूर्ण समर्थन करते हुए सुबह 5 बजे ही बस अड्डे पर पहुंच कर मोर्चा संभाल लिया।

इस दौरान उन्होंने करीब 6 घंटे लगातार यातायात ठप्प रखकर सरकार के विरूद्ध नारेबाजी की। उनके संघर्ष को उस समय और बल मिल गया जब भाईचारिक जत्थेबंदियां पंजाब रोडवेज मोटर मजदूर यूनियन (सीटू) तथा मिनी बस आप्रेटर वर्कर्ज यूनियन के पदाधिकारी भी रोष धरने में शामिल हो गए। आज की हड़ताल के दौरान अमृतसर-1 व अमृतसर-2 की करीब 150 पनबस का चक्का जाम रखा गया है।

इस अवसर पर सीनियर उपाध्यक्ष जोध सिंह ने पंजाब सरकार को वायदों से मुंह फेरने वाली सरकार करार दिया तो वहीं केंद्र की भाजपा सरकार को जनविरोधी व सांप्रदायिक सरकार बताते हुए कहा कि यह सरकार किरायों में बढ़ौत्तरी, बिजली के रेटों में वृद्धि, पैट्रोल-डीजल और रसोई गैस के दामों में वृद्धि करके आम वर्ग के घरों के चूल्हों को ठंडा करने का काम कर रही है जिसे पंजाब रोडवेज/ पनबस कंटरैक्ट वर्कर्ज यूनियन किसी कीमत पर बर्दाश्त नहीं करेगी। 

स. जोध सिंह ने बताया कि पंजाब के 18 रोडवेज डिपो की पनबसों को डिपो में बंद रखा गया है। कुल मिलाकर इस हड़ताल के कारण पंजाब का नहीं बल्कि दिल्ली, हरियाणा, अंबाला, जम्मू, उत्तराखंड इत्यादि हर रूट खासा प्रभावित हुआ है। 

रोष धरने में सैंटर बॉडी मैंबर बलजिंदर सिंह, अमृतसर-1 के प्रधान तरजिंदर सिंह, अमृतसर-2 के प्रधान केवल सिंह, महासचिव बलजीत सिंह, सुखचैन सिंह, महासचिव तरजिंदर सिंह, हजारा सिंह, सुखबीर सिंह, साहिब सिंह, शिवपाल सिंह, उपाध्यक्ष बिक्रम सिंह, जरनैल सिंह, गुरविंदर सिंह, शमशेर सिंह, पंजाब रोडवेज मोटर मजदूर यूनियन संबंधित सीटू के प्रधान नरिंदरपाल चमियारी, प्रांतीय सचिव का. सुच्चा सिंह अजनाला, काम. जीत राज, काम. वजीर चंद, एटक से कुलवंत सिंह घुक्केवाली, बिक्रमजीत सिंह (इंचार्ज वर्कशाप), डिपो प्रधान अमरजीत सिंह, मिनी बस आप्रेटर वर्कर्ज यूनियन के जिलाध्यक्ष बलदेव सिंह बब्बू सहित अन्य मौजूद थे।

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