2018-19 में देश में 5213 टन अनाज गोदामों में पड़ा खराब हुआ

punjabkesari.in Wednesday, Jul 03, 2019 - 11:36 AM (IST)

जालंधर(धवन): देश में 2018-19 में 5213 टन अनाज गोदामों में पड़ा खराब हुआ है। कांग्रेसी सांसद चौधरी संतोख सिंह ने लोकसभा में केन्द्रीय खाद्य व उपभोक्ता मामलों के मंत्री से पूछा था कि पिछले 3 वर्षों में देश में भूख के कारण कितने लोगों की मौतें हुईं, उन्होंने यह भी पूछा था कि इस अवधि के दौरान गोदामों में पड़ा हुआ कितना अनाज नष्ट हो गया, उसकी जानकारी भी विस्तार से दी जाए। चौधरी संतोख सिंह द्वारा पूछे गए सवाल का जवाब देते हुए केन्द्रीय राज्य मंत्री डी.आर. दादा राव ने संसद को बताया कि 2016-17 में देश में 8776 टन अनाज गोदामों में पड़ा हुआ नष्ट हो गया था। 2017-18 में नष्ट होने वाले अनाज की गिनती 2663 टन थी। 2018-19 में गोदामों में पड़ा अनाज जो नष्ट हुआ, वह 5213 टन था। 2019-20 में 31 मई 2019 तक 33 टन अनाज खराब हुआ है। केन्द्रीय मंत्री ने बताया कि सबसे ज्यादा अनाज बिहार राज्य में 2018-19 में खराब हुआ जोकि 3568 टन था। अनाज को संभालने की जिम्मेदारी भारतीय खाद्य निगम की है। देश में दूसरे नम्बर पर असम राज्य आता है, जहां 868 टन अनाज खराब हुआ है। पंजाब के बारे में उन्होंने कहा कि 2018-19 में राज्य में 318 टन अनाज खराब हुआ। उत्तर प्रदेश में खराब होने वाले अनाज की गिनती 116 टन थी। 

स्टोरज के लिए केंद्र सरकार ने शुरू की प्राइवेट इंटरप्रिन्योर गारंटी स्कीम
केन्द्रीय मंत्री ने कांग्रेसी सांसद संतोख चौधरी को बताया कि 1 जून 2019 तक कुल 741.41 लाख मीट्रिक टन अनाज स्टॉक में पड़ा हुआ था जिसमें से भारतीय खाद्य निगम (एफ.सी. आई.), केन्द्रीय वेयर हाऊसिंग कार्पोरेशन तथा राज्य सरकार की एजैंसियों के पास 862.45 लाख टन अनाज गोदामों में पड़ा हुआ था। इसमें से 739.76 लाख टन अनाज गोदामों में कवर एरिया में तथा 122.69 लाख टन अनाज तिरपालों से कवर करके रखा गया था। केन्द्रीय पूल में स्टोरेज की पूरी क्षमता मौजूद है। उन्होंने कहा कि केन्द्र सरकार ने राज्यों में स्टोरेज की क्षमता को बढ़ाने के लिए प्राइवेट इंटरप्रिन्योर गारंटी स्कीम शुरू की हुई है, जिसके तहत केन्द्रीय वेयर हाऊसिंग कार्पोरेशन तथा राज्य सरकार की एजैंसियां प्राइवेट उद्यमों को अनाज स्टोरेज के लिए आगे आने के लिए प्रोत्साहित कर रही है। केन्द्र सरकार द्वारा एफ.सी.आई. को फंड रिलीज किए जाते हैं तथा साथ ही राज्य सरकारों को भी गोदाम बनाने के लिए फंड दिए जा रहे हैं। 1 अप्रैल 2017 से 31 मई 2019 तक एफ.सी.आई. तथा राज्य सरकारों ने मिलकर 49,375 मीट्रिक टन नई गोदाम क्षमता का विस्तार किया। केन्द्रीय मंत्री ने कांग्रेसी सांसद को बताया कि जिला, क्षेत्रीय व जोनल स्तर पर डैमेज मोनीटरिंग सैल बनाए गए हैं, जोकि खराब होने वाले अनाज के स्टॉक पर लगातार नजर रखते हैं। गोदामों की छतों में होने वाली लीकेज का लगातार पता लगाकर उनकी रिपेयर की जा रही है। गोदामों के निकट सीवरेज की लगातार सफाई की जा रही है ताकि पानी आसपास जमा न हो सके।

पवित्र कैलाश मानसरोवर को क्या यूनैस्को ने अपनी सूची में किया शामिल?
कांग्रेसी सांसद चौधरी संतोख सिंह ने केन्द्रीय सांस्कृतिक मामलों के मंत्री से लोकसभा में पूछा कि क्या यूनैस्को ने भारतीय क्षेत्र में आते पवित्र कैलाश मानसरोवर को वल्र्ड हैरीटेज स्थलों की सूची में शामिल किया है, का जवाब देते कहा कि अप्रैल 2019 में भारत में पड़ते वल्र्ड हैरीटेज स्थलों में भारतीय क्षेत्र में आते कैलाश मानसरोवर को सूची में शामिल किया गया था। यह स्थल यूनैस्को के विचाराधीन है। उन्होंने कहा कि एक बार नामांकन का कार्य पूरा होने के बाद इसे वल्र्ड हैरीटेज सैंटर को भेज दिया जाएगा। 


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