जालंधर में कैप्टन सरकार का फरमान पड़ रहा भारी, 242 में से इतनी बड़ी संख्या में Student शामिल

punjabkesari.in Thursday, Mar 04, 2021 - 05:05 PM (IST)

जालंधर (रत्ता): पंजाब में कोरोना वायरस का कहर दिन-प्रतिदिन बढ़ता जा रहा है। बेशक मुख्यमंत्री अमरेंद्र सिंह ने लोगों के एकत्रित होने को इंडोर 100 और आऊटडोर 200 व्यक्तियों तक सीमित कर दिया है लेकिन स्कूलों में बढ़ते कोरोना के मामलों को पूरी तरह नजरअंदाज किया गया है।  इसी कारण स्कूल के विद्यार्थी और स्टाफ लगातार पॉजिटिव आ रहे है। ऐसा ही हाल जालंधर जिले का है जहां कोरोना का बड़ा धमाका देखने को मिला। गुरुवार को जिले में 5 लोगों की मौत जबकि कुल 242 की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है, जिसमें 76 स्कूली छात्र तथा 10 टीचर है जो कि बहुत चिंता का विषय है। इसके अलावा कुछ प्राईवेट स्कूलों के विद्यार्थी भी बताए जा रहे है।  

लगातार टीचर और स्टूडैंट्स आ रहे कोरोना पॉजिटिव 
राज्य भर के स्कूलों से लगातार कोरोना वायरस केस मिल रहे हैं। इनमें अध्यापकों के साथ विद्यार्थी भी शामिल हैं। अगर जिला लुधियाना की बात की जाए तो पिछले कुछ दिनों में ही लगभग 143 कोरोना पॉजिटिव केस निजी और सरकारी स्कूलों में मिले हैं। इनमें 103 विद्यार्थी और 40 अध्यापक शामिल हैं, जिनमें से सरकारी सीनियर सैकेंडरी स्कूल गालिब कलां की एक अध्यापिका की मौत भी हो चुकी है। हालत गंभीर होते देख अभिभावकों द्वारा नॉन-बोर्ड क्लासेज की परीक्षाएं ऑनलाइन करवाने की मांग जोर पकड़ रही है।

अध्यापकों की कमी बनी सोशल डिस्टैंसिंग लागू न होने की मुख्य वजह
बहुत से सरकारी स्कूलों में अध्यापकों के पद खाली पड़े हैं, ऐसे में सीमित अध्यापकों के साथ ही स्कूल का प्रबंध चलाना पड़ रहा है। कई स्कूलों में अध्यापकों की कमी के चलते एक क्लास के एक से अधिक सैक्शंस के विद्यार्थियों को इकट्ठे बिठा कर पढ़ाया जा रहा है, जोकि कोरोना संक्रमण की एक बड़ी वजह बन सकता है।

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Vatika