कैबिनेट मंत्री के खिलाफ महिला आई.ए.एस. अधिकारी की शिकायत पर गर्माई सियासत

punjabkesari.in Thursday, Oct 25, 2018 - 12:08 PM (IST)

चंडीगढ़ (रमनजीत): पंजाब मंत्रिमंडल के एक सदस्य के खिलाफ महिला आई.ए.एस. अधिकारी द्वारा मानसिक तौर पर परेशान करने व देर रात असभ्य मैसेज भेजने के आरोप लगाने के बाद पंजाब की सियासत गर्मा गई है। मंत्री पद खाली होता देख एक तरफ कांग्रेस विधायकों में हलचल बढ़ गई है, जबकि पार्टी में हड़कंप मच गया है। दूसरी तरफ, विपक्षी पार्टियों को कैप्टन सरकार के खिलाफ नया मुद्दा मिल गया है।

शिरोमणि अकाली दल और आम आदमी पार्टी (आप) ने कैप्टन सरकार पर तीखा हमला किया है और ‘मी-टू’ कैंपेन का हवाला देते हुए दोगलेपन का आरोप लगाया है। गौरतलब है कि कांग्रेस द्वारा राष्ट्रीय स्तर पर एम.जे. अकबर के खिलाफ अभियान चलाया गया था और मंत्री पद से इस्तीफा देने तक जारी रखा गया था। पहले भी कुछ विवादों को न्योता देने वाले पंजाब मंत्रिमंडल के इस मंत्री के खिलाफ महिला आई.ए.एस. अधिकारी द्वारा शिकायत तो कुछ समय पहले की गई थी, लेकिन उसके अब जाहिर होने के बाद यह आग की तरह फैल गई है। 

कांग्रेस और सरकार के पदाधिकारी इस पर चुप्पी साधे बैठे हैं। मामला कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रधान राहुल गांधी तक भी पहुंच चुका है और मीडिया में आने के बाद कांग्रेस की किरकिरी का कारण बन रहा है। इसलिए संभावना जताई जा रही है कि कैप्टन के इजरायल से वापस आने के बाद उक्त मंत्री को मंत्रिमंडल से बाहर का रास्ता दिखाया जा सकता है। 

तत्काल मंत्री पद छोड़ें मंत्री : खैहरा
इस मामले पर सुखपाल सिंह खैहरा और कंवर संधू ने कहा कि यह गंभीर मामला है और कोई भी इसको बर्दाश्त नहीं करेगा कि कोई मंत्री अपने रसूख का इस्तेमाल कर किसी महिला का उत्पीड़न करने का प्रयास करे। उन्होंने कहा कि मामले की तत्काल जांच होनी चाहिए और साथ ही उक्त मंत्री को अपनी गलती स्वीकार करते हुए तत्काल मंत्री पद छोड़ देना चाहिए। 

मामले को रफा-दफा करने की हो रही कोशिश: बादल
शिरोमणि अकाली दल के प्रधान सुखबीर सिंह बादल ने कहा कि मुख्यमंत्री उस कैबिनेट साथी का नाम सार्वजनिक करें, जिसने एक महिला आई.ए.एस. अधिकारी को अभद्र व अवांछित मैसेज भेजे हैं। उन्होंने सवाल किया कि राहुल गांधी मंत्री के खिलाफ कार्रवाई करने से क्यों झिझक रहे हैं। डेढ़ महीना पहले एक कैबिनेट मंत्री के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई है। इस मामले को रफा-दफा करने की कोशिश की गई है। 

महिला अफसर की शिकायत पर की जा चुकी है कार्रवाई : कैप्टन
पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने कहा कि एक मंत्री की तरफ से महिला अफसर को आपत्तिजनक संदेश भेजने संबंधी मामले को गंभीरता से लिया जा चुका है और उनकी जानकारी के मुताबिक, महिला अफसर की संतुष्टि के अनुसार कार्रवाई करते हुए यह मामला हल किया जा चुका है। मुख्यमंत्री ने इस घटना के बारे में मीडिया रिपोर्ट के संबंध में कहा कि यह मामला कुछ हफ्ते पहले मेरे ध्यान में लाया गया था और मैंने मंत्री को माफी मांगने और महिला अफसर के साथ इस मामले को निपटाने के लिए कहा था। मैं समझता हूं कि अफसर की संतुष्टि के मुताबिक मंत्री ने ऐसा ही किया, जिस कारण मामला सुलझ गया है।

‘आप’ महिला विंग ने की मंत्री को बर्खास्त करने की मांग 
आम आदमी पार्टी (आप) पंजाब की महिला नेताओं ने मांग की है कि मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह उस कैबिनेट मंत्री को तुरंत मंत्री पद से हटाएं, जिस पर उच्च महिला अधिकारी ने उत्पीड़न के आरोप लगाए हैं। विंग की प्रधान राज लाली गिल और सह-प्रधान जीवनजोत कौर ने कहा कि मंत्री का अनैतिक व्यवहार बर्दाश्त नहीं किया जा सकता। इस मुद्दे पर कैप्टन अमरिंदर के साथ-साथ कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रधान राहुल गांधी पर दोहरे मानदंड अपनाने का आरोप लगाया।

उन्होंने कहा कि एक तरफ महिलाओं का शारीरिक व मानसिक शोषण करने के आरोपों में घिरे भाजपा केंद्रीय मंत्री एम.जे. अकबर का इस्तीफा मांगा जा रहा था, वहीं अपने मंत्री पर लगे आरोपों को दबाया जा रहा था, जबकि मंत्री को तुरंत हटाया जाना चाहिए था और ‘विशाखा गाइड लाइन्स’ के मुताबिक महिला अधिकारी की शिकायत महिलाओं की भागीदारी वाली विशेष समिति के हवाले की जानी चाहिए थी। जीवनजोत ने कहा कि कैप्टन अमरिंदर और कांग्रेस सुप्रीमो राहुल गांधी ध्यान में मामला आते ही कार्रवाई करते तो देश में सख्त और स्पष्ट संदेश जाता और महिलाओं पर मानसिक व शारीरिक उत्पीड़न के विरुद्ध दुनियाभर में चल रही ‘मी-टू’ मुहिम को और बल मिलता। 

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