पूर्व DGP को बेनकाब करने वाले शमशुद्दीन को लेकर सनसनीखेज खुलासे, मामले में आया नया मोड़
punjabkesari.in Wednesday, Oct 22, 2025 - 11:47 AM (IST)
            
            मलेरकोटला (खुराना): पंजाब के पूर्व DGP मोहम्मद मुस्तफा और पूर्व मंत्री रजिया सुल्ताना के बेटे अकील अख्तर की मौत के बाद उनकी हत्या को लेकर की गई शिकायत में एक नया मोड़ सामने आया है। शमशुद्दीन चौधरी, जिन्होंने इन नेताओं के खिलाफ एफआईआर दर्ज करवाई थी, उनके राजनीतिक संबंधों को लेकर कई अहम खुलासे हुए हैं। मलेरकोटला के विधायक डॉ. जमील-उर-रहमान ने शमशुद्दीन के बारे में बेतहाशा जानकारी दी, जिसमें उनके कई राजनीतिक दलों से जुड़े रहने की बात सामने आई है।
डॉ. जमील ने खुलासा किया कि शमशुद्दीन बहुजन समाज पार्टी (BSP), राष्ट्रीय जनता दल (RJD), शिरोमणि अकाली दल (SAD), और आम आदमी पार्टी (AAP) में रह चुके हैं। 2022 के विधानसभा चुनाव में शमशुद्दीन ने शिरोमणि अकाली दल छोड़कर AAP का दामन थामा था और जमील-उर-रहमान के चुनावी कैंपेन में उनका साथ दिया। चुनाव जीतने के बाद, डॉ. जमील ने शमशुद्दीन को अपने दफ्तर में रखा, लेकिन कुछ समय बाद उन्हें दफ्तर से निकाल दिया गया, क्योंकि वह कार्यकर्ताओं और पब्लिक के फोन नहीं उठा रहे थे।
मलेरकोटला के लोग शमशुद्दीन को जमील का पी.ए. ही मानते हैं और इस बात को सच्चाई के रूप में स्वीकार करते हैं। कुछ लोगों ने तो बताया कि शमशुद्दीन का भाई खाद का कारख़ाना चलाता है, और उनका घर मॉडल टाउन में निर्माणाधीन है।
क्या कहते हैं विधायक डॉ. जमील उर रहमान?
डॉ. जमील ने इस मामले पर अपनी स्थिति स्पष्ट करते हुए कहा कि शमशुद्दीन उनका कभी पी.ए. नहीं था और वह इस शिकायत से किसी भी तरह जुड़ा हुआ नहीं हैं। उन्होंने यह भी कहा कि शमशुद्दीन की शिकायत पूरी तरह से व्यक्तिगत है और उसे लेकर कोई सियासी बयानबाजी नहीं होनी चाहिए। डॉ. जमील ने यह भी साफ किया कि शमशुद्दीन की भूमिका उनकी पार्टी से जुड़ी नहीं थी, और उनके राजनीतिक कनेक्शन को ध्यान में रखते हुए उसकी जांच होनी चाहिए।
शमशुद्दीन चौधरी का बयान

शमशुद्दीन चौधरी ने इस मामले में अपनी प्रतिक्रिया दी और कहा कि उन्हें शिकायत देने के बाद से लगातार धमकियां मिल रही हैं। उन्होंने दावा किया कि अकील अख्तर ने अपनी हत्या की आशंका पहले ही जताई थी, और उन्होंने इसके चलते ही पंचकूला में शिकायत दर्ज करवाई थी। शमशुद्दीन ने यह भी कहा कि उनका किसी भी राजनीतिक पार्टी से कोई संबंध नहीं है, और वह केवल व्यक्तिगत मित्रता के आधार पर विधायक जमील के संपर्क में थे।
मोहम्मद मुस्तफा और रजिया सुल्ताना का आरोप
इस बीच, मोहम्मद मुस्तफा और रजिया सुल्ताना के घर, एमके हाउस में सन्नाटा पसरा हुआ है। घर में कोई नहीं है, और गेट पर तैनात सिक्योरिटी गार्ड का कहना है कि परिवार सदस्य उत्तर प्रदेश गए हुए हैं।
पुराना विवाद
यह पहला मौका नहीं है जब शमशुद्दीन चौधरी और मोहम्मद मुस्तफा के बीच विवाद हुआ है। 2022 के विधानसभा चुनाव में मुस्तफा के हिंदुओं के खिलाफ दिए बयान के बाद शमशुद्दीन ने उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज करवाई थी। उस मामले में पुलिस की चार्जशीट अब अदालत में दाखिल हो चुकी है, और अदालत में सुनवाई चल रही है।
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