Meritorious Schools में फिर हंगामा, Students का रोष देख प्रशासन ने लिया सख्त फैसला

punjabkesari.in Thursday, Dec 07, 2023 - 12:32 PM (IST)

भवानीगढ़ (विकास): स्कूल की मैस में बच्चों को खराब खाना परोसने के मामले में सुर्खियों में आए घाबदां गांव के मैरीटोरियस स्कूल में एक बार फिर हंगामा खड़ा हो गया। बुधवार सुबह स्कूल के बाहर बड़ी संख्या में इकट्ठा हुई छात्राओं और उनके अभिभावकों ने लड़कियों की हॉस्टल वार्डन को नौकरी से हटाने एवं अन्य मांगों को लेकर स्कूल के मुख्य गेट के सामने धरना प्रदर्शन कर जोरदार नारेबाजी की।

गौर हो की गत 2 दिसम्बर को स्कूल की कैंटीन में खराब खाना खाने से 70 से ज्यादा बच्चों को फूड प्वाइजनिंग की शिकायत हो गई थी और हालत खराब होने से बच्चों को अस्पताल भर्ती करवाया गया था। स्कूल में बच्चों की सेहत के साथ खिलवाड़ होने का मामला उजागर होने पर राज्य के शिक्षा मंत्री हरजोत बैंस के आदेशों पर पुलिस द्वारा कैंटीन के ठेकेदार और मैनेजर के खिलाफ कार्रवाई करते हुए धारा 307 के अंतर्गत पर्चा दर्ज किया था। साथ ही जांच टीम गठित कर प्रशासन ने स्कूल को 5 दिन के लिए बंद करने का निर्णय लिया था।

बुधवार को दोबारा स्कूल खुलने पर अपने अभिभावकों के साथ स्कूल पहुंची छात्राएं हॉस्टल वार्डन को निलंबित करने की मांग को लेकर भड़क गई। प्रदर्शन में शामिल 12वीं कक्षा की छात्राएं मनमीत कौर और पवनप्रीत कौर के साथ 11वीं की छात्रा हरमनप्रीत कौर ने वार्डन पर बच्चों के साथ सही व्यवहार न करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि वार्डन उन्हें स्कूल से निकलवाने की धमकियां देती है और बीमार होने पर भी दवाइयां नहीं देती। भड़के अभिभावकों ने भी हॉस्टल वार्डन को डिसमिस करने सहित उनकी अन्य मांगों को पूरा करने की मांग की। उधर, धरने की सूचना मिलने पर शिक्षा विभाग के डिप्टी डीईओ प्रीतिंदर घई पुलिस अधिकारियों सहित मौके पर पहुंचे जिन्होंने छात्राओं और अभिभावकों की बात को सुना। इसके बाद डिप्टी डीईओ ने अभिभावकों को शांत करवाते हुए कहा कि उनकी मांगे जायज है उन्हें पूरा किया जाएगा।

प्रदर्शन के आगे झुका प्रशासन, वार्डन को हटाया
घई ने मंच से अभिभावकों को भरोसा दिया कि छात्राओं की वार्डन को हटा दिया गया है और उसकी जगह अस्थाई तौर पर वार्डन को तैनात कर दिया गया है। इसके अलावा एक कमेटी जिसमें 8 बच्चे और 8 टीचर शामिल होंगे रोजाना कैंटीन का खाना चैक करेगी, साथ ही 5 शिक्षकों की टीम स्कूल की मैस की सफाई और खाने बनाने वाले लोगों को नियमित तौर पर जांच करेगी और इसके अलावा स्कूल के वॉशरूम दिन में 2 बार साफ किए जाएंगे, सप्ताह में एक दिन बच्चों को उनके अभिभावकों के साथ फोन पर बात करने की आज्ञा दी जाएगी। डिप्टी डी.ई.ओ. द्वारा दिए गए आश्वासन के बाद छात्राएं और उनके अभिभावक शांत हुए इसके बाद उन्होंने अपना प्रदर्शन समाप्त किया।
 

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Vatika