बाबा ज्ञानी ने रैकी कर गैंगस्टर सुखा को दी थी कारोबारी के बारे में जानकारी, ऐसे हुआ खुलासा

punjabkesari.in Saturday, Jul 02, 2022 - 12:30 PM (IST)

लुधियाना (राज): कारोबारी सुभाष आरोड़ा से 3 करोड़ रुपए की फिरौती मांगने के मामले में पकड़े गए आरोपियों से पूछताछ में ओर भी कई अहम खुलासे हुए है। पूछताछ में पता चला है कि लुधियाना के रहने वाले बाबा ज्ञानी ने कारोबारी सुभाष आरोड़ा की रैकी की थी।

उसके बारे में सारी जानकारियां इक्ट्ठा कर बाबा ज्ञानी ने गैंगस्टर सुखा दुनेके को दी थी। बाबा ज्ञानी ने कारोबारी के बारे में सब कुछ पता किया था कि वह कहां पर रहता है, घर से कितने बजे निकल कर फैक्टरी कब पहुंचता है और फैक्टरी से घर कब जाता है। जिसके बाद सुखा दुनेके ने मलेशिया में बैठे अपने साथी मनदीप सिंह को कह कर सुभाष को फिरौती के लिए कॉल करवाए थे। लेकिन, फायरिंग की वारदात वाले दिन फैक्टरी से सुभाष नहीं बल्कि उसका भतिजा निकला था। उसके भतिजे के पास भी क्रेटा कार ही थी। इसलिए बाबा ज्ञानी को यह लगा कि सुभाष अब फैक्टरी से निकल गया। उसकी सूचना के बाद बाइक सवार तीनों शूटर कार का पीछा करने लग गए थे और चंडीगढ़ रोड़ पर जाकर उन्होने कार पर फायरिंग कर दी थी। सात आरोपियों को पकडऩे के बाद अब पुलिस बाबा ज्ञानी की तलाश में लगी हुई है। छापेमारी से पहले आरोपी फरार हो गया था। लेकिन, पुलिस का कहना है कि उसे भी जल्द पकड़ लिया जाएगा।

बंबीहा ग्रुप का गैंगस्टर है सुखा दुनेके :
पुलिस ने बताया कि आरोपी का पूरा नाम सुखदुल सिंह उर्फ सुखविंदर सिंह उर्फ सुखा है, जोकि सिटी मोगा के गांव दुनेके का रहने वाला है और बंबीहा गु्रप के साथ जुड़ा हुआ है। सूत्रों का कहना है कि सुखा दुनेके की मोगा में बहुत दहशत थी। उसके खिलाफ मोगा में करीब हत्या के प्रयास और मारपीट के दर्जन से ज्यादा केस दर्ज है। जिसमें कई मामलों में वह भगौड़ा भी है।

सुखा की पासपोर्ट इन्क्वेरी करने वाले पुलिस मुलाजिम हुए थे सस्पैंड :
आरोपी गैंगस्टर सुखदुल सिंह उर्फ सुखविंदर सिंह उर्फ सुखा दुनेके इस समय में विदेश में बैठा है। सुखा दुनेके के खिलाफ पहला केस 2005 में मारपीट का दर्ज हुआ था। उसके बाद में 2009, 2011, 2013, 2015, 2016, 2019 में लगातार उसके खिलाफ केस दर्ज होते गए थे। इसके बाद सुखा ने कुछ पुलिस वालों के साथ मिलकर अपना पासपोर्ट बना लिया था। पुलिस वालों ने रिश्वत लेकर उनके पासपोर्ट की इंनक्वारी कर दी थी। जबकि वह कई मामलों में पुलिस और अदालत का भगौड़ा चल रहा था। उस पासपोर्ट के जरिए आरोपी सुखा विदेश भाग गया था। जब इस बात का खुलासा हुआ था कि तब पुलिस अधिकारियों ने उन पुलिस वालों को सस्पैंड कर दिया था। जिन्होने आरोपी का पासपोर्ट बनाने में उनकी मदद की थी।

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Vatika