माझे की जहरीली शराब के तार घनौर और राजपुरा के साथ जुड़े

punjabkesari.in Tuesday, Aug 04, 2020 - 05:24 PM (IST)

पटियाला(बलजिन्द्र): माझे में जहरीली शराब पीने से 112 लोगों की हुई मौत के बाद जब पंजाब पुलिस ने इसकी जांच शुरू की तो इसके तार घनौर और राजपुरा के साथ जुड़ गए। खुफिया विभाग की तरफ से तैयार की रिपोर्टों के बाद जहरीली शराब की जांच राजपुरा और शंभू के पास स्थित ढाबों पर केंद्रित हो गई है। इन ढाबों में से कर्इें पर काफी लम्बे समय से काम चल रहा है और पुलिस की तरफ से पहले भी रिकवरी की गई है। इस मामले की जांच कर रहे अधिकारियों की तरफ से यहां फोकस कर लिया गया है। जहरीली शराब की जांच शुरू होते ही तरनतारन पुलिस ने यहां से 4 लोगों को गिरफ्तार भी किया था और उनसे पूछताछ के बाद यहां जांच केंद्रित हो गई है। जहरीली शराब की जांच के तार राजपुरा और शंभू के साथ जुड़ चुके हैं। 

उल्लेखनीय है कि मई में हलका घनौर में से एक नकली शराब बनाने की फैक्टरी पकड़ी गई थी तो पूरे पंजाब में काफी विवाद खड़ा हुआ। इसके कारण सरकार को विरोधी गुटों की काफी ज्यादा नुक्ताचीनी सहन करनी पड़ी थी। परन्तु उस मामले को दबा दिया गया। इस मामले में पटियाला पुलिस ने 3 एस.आई.टी. बनाई थी परन्तु एस.आई.टी. की तरफ से इस मामले में कुछ भी नहीं किया गया और राजसी हितों के कारण मामला दबा दिया गया। 

इसके बाद ई.डी. की तरफ से नकली शराब के कारोबार की जांच शुरू की गई तो पटियाला पुलिस ने ई.डी. को रिकार्ड ही नहीं दिया। मामला बीच में ही लटक गया। परन्तु अब फिर से मुख्यमंत्री के जिले में शराब की तरनतारन तक सप्लाई ने कई सवाल खड़े कर दिए। किस तरह नाजायज शराब राजपुरा और शंभू से तरनतारन तक पहुंच जाती थी। विपक्ष की तरफ से उस समय 5600 करोड़ का शराब घोटाला बताया गया। यदि नकली शराब मामले की गहराई के साथ जांच हो जाती तो आज इतने लोगों को जान से हाथ न धोना पड़ता। इतने लोगों की जान जाने के बाद पुलिस होश में आई और घनौर व राजपुरा सब-डिवीजनों में से भारी मात्रा में कच्ची शराब बरामद की गई। 
 


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Vaneet

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