बठिंडा जेल में कैदी भिड़े, पुलिसकर्मी मूकदर्शक बन देखते रहे

punjabkesari.in Monday, Feb 10, 2020 - 11:11 AM (IST)

बठिंडा(विजय): बठिंडा जेल में सुबह 10 बजे दर्जन से अधिक कैदी आपस में भिड़ गए जिनमें आधा दर्जन घायल हो गए। सुबह 10 बजे नहाने के बाद एक कैदी ने अपने दूसरे साथी कैदी से शीशा मांगा लेकिन शीशा न देने पर विवाद हो गया और देखते ही देखते कैदी 2 गुटों में बंट गए व नौबत हाथापाई तक आ गई। 

दोनों ओर से कैदियों के समर्थक एक-दूसरे को ललकारने लगे जबकि जेल में तैनात पुलिसकर्मी मूकदर्शक बन देखते रहे। हाथ में जो आया उसको कैदियों ने एक-दूसरे पर फैंक दिया जिससे कुछ को गंभीर चोटें आई। कैदियों की लड़ाई को देखते हुए सभी जेल कर्मियों को आपात में बुलाया गया और कैदियों की लड़ाई पर नियंत्रित किया गया। सिविल अस्पताल में इलाज करवाने गए कैदी कुछ भी बताने से गुरेज करने लगे। इसकी सूचना थाना कैंट पुलिस को दी गई तो पुलिस ने कार्रवाई शुरू कर दी। थाना कैंट प्रभारी नरेन्द्र कुमार ने बताया कि कोई भी कैदी न तो शिकायत दर्ज करवाने को तैयार है और न ही कैदियों ने अपना मैडीकल करवाया। जैसे जेल सुपरिंटैंडैंट जो निर्देश जारी करेंगे उन्हीं के आधार पर कार्रवाई होगी। 

आम बात है जेल में नशा व मोबाइल फोन मिलना 
पंजाब में नाभा जेल के बाद 2 अन्य जेलें जिनमें बङ्क्षठडा व कपूरथला जेल शामिल है, को आधुनिक बनाया गया लेकिन इन जेलों में नशा, मोबाइल फोन मिलना आम बात है, जबकि कैदियों की सुरक्षा पर भी सवालिया निशान लगता नजर आ रहा है। चाहकर भी इसे नियंत्रण नहीं किया जा रहा। पंजाब सरकार द्वारा मोबाइल संचार को रोकने के लिए जेलों में जैमर लगाने की बात की गई थी लेकिन यह मामला खटाई में है। 

एक सप्ताह पहले भी भिड़े थे 2 गुट 
बता दें कि केंद्रीय जेल बङ्क्षठडा में बंद प्रवीन सिंह वासी बरेटा, सुरजीत सिंह बुर्ज महिमा, कर्णजीत सिंह मक्खू, परविन्द्र सिंह पटियाला, मल्लू सिंह धोबीआना, रणवीर सिंह वासी खेता सिंह बस्ती आपस में भिड़ गए। इससे पहले शनिवार को एक कैदी ने फंदा लगाकर अपनी जान दे दी थी जबकि एक सप्ताह पहले कैदियों के 2 गुट आपस में भिड़ गए थे और खूब मारपीट हुई थी। 

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