कोरोना का खौफः संस्कार के 16 दिन बाद भी नहीं उठाई श्मशानघाट से बलदेव सिंह की अस्थियां

punjabkesari.in Saturday, Apr 04, 2020 - 01:55 PM (IST)

पठलावाः पंजाब में कोरोना से सबसे पहली मौत गांव पठलावा जिला नवांशहर में बाबा बलदेव सिंह की हुई थी और उनका अंतिम संस्कार 18 मार्च को हुआ था। आज 16 दिन के पश्चात भी उनकी अस्थियां श्मशानघाट में पड़ी है। बाबा बलदेव सिंह के ज्यादातार पारिवारिक सदस्य तो स्वास्थय विभाग के आइसोलेशन वार्ड, नवांशहर में हैं क्योंकि वह भी कोरोना पॉजीटिव हैं। गांव में कर्फ्यू व सील किए होने के कारण गांव के लोग यह काम प्रशासन की इजाजत के बिना कर नहीं सकते। अब प्रशासन ने  इस तरफ अभी तक ध्यान क्यों नहीं दिया, यह एक बड़ा सवाल लोगों के जहन में उठ रहा है।

गांव पठलावा पंजाब का एक मात्र ऐसा गांव है जहां कोरोना के सबसे अधिक मरीज पाए गए। बाबा बलदेव सिंह की मौत के बाद अभी भी 18 लोग कोरोना से पीड़ित है। इनके गांव का सरपंच व उनकी माता भी शामिल हैं।यह भी लोग नवांशहर जिला हैडक्वाटर के सरकारी अस्पताल में बनाए गए आइसोलेशन वार्ड में स्वास्थय विभाग की विशेष टीम के नेतृत्व में हैं।सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार स्वास्थय विभाग ने आझा दर्जन कोरोना पॉजीटिव व्यक्तियों के पुनः सैंपल लेकर टैस्ट के लिए भेजे है। विभाग द्वारा 14 दिन के पश्चात पुनः टैस्ट करवाएजा रहे हैं तांकि लोगों की अब की स्थिति का पता चल सके।गांव में आम लोगों के स्वास्थय के चैकअप हेतु विभाग ने अच्छे प्रबंध कर रथे हैं। गांव में स्पैशलिस्ट डॉक्टरों की टीमें रैगुलर जा रही हैं व लोगों का चैकअप कर दवाइयां दी जा रही है, जिसको लेकर गांव के लोग खुश है। 

सोशल मीडिया पर कुप्रचार से गांव के लोग आहत
मृतक बलदेव सिंह पठलावा को लेकर सोशल मीडिया पर कुप्रचार किया जा रहा है उस को लेकर गांव के लोग संत बाबा धन्हैया सिंह निर्मल कुटिया पठलावा से जुड़ी लाखों की संगत बेहद आहत है।यह कहना हैं गांव के हरप्रीत सिंह निंहग व क्षेत्र निवासी चरणप्रीत सिंह वाडी का। 

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