राज्यसभा में जाने को लेकर विशेष बातचीत पर बोले संत सीचेवाल

punjabkesari.in Sunday, May 29, 2022 - 10:37 AM (IST)

जालंधरः आम आदमी पार्टी द्वारा बतौर राज्यसभा मैंबर नामजद किए गए संत बलबीर सिंह सीचेवाल, जोकि वातावरण प्रेमी के तौर पर जाने जाते हैं, ने राजनीति से हमेशा दूरी बनाए रखी है। वह 2 बार राज्यसभा में जाने से इंकार कर चुके हैं। इसके बावजूद आम आदमी पार्टी ने उनको राज्यसभा में भेजने की तैयारी कर ली है। सियासत और पर्यावरण अलग-अलग मुद्दे हैं लेकिन इन मुद्दों पर एक ही समय कैसे आवाज उठाई जा सकती है? यदि संत सीचेवाल राज्यसभा में जाते हैं तो क्या वह सरगर्म राजनीति में भी आएंगे? इन मुद्दों को लेकर संत बलबीर सिंह सीचेवाल के साथ विशेष मुलाकात की गई। पेश हैं इस मुलाकात के मुख्य अंश:

समागम के दौरान राज्यसभा में जाने को लेकर कोई बात नहीं हुई
प्र. क्या भगवंत मान के साथ हुई मुलाकात में तय हो गया था कि आप राज्यसभा जा रहे हैं? 

उ. इस सवाल के जवाब में सीचेवाल ने बताया कि संत अवतार सिंह की बरसी पर आयोजित समागम के मौके पर मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान निर्मल कुटिया सीचेवाल आए थे। इस दौरान मेरी उनके साथ लंबे समय तक बातचीत भी हुई। बातचीत का मुख्य विषय दूषित हो रहा वातावरण, पंजाब के पानी का मसला तथा चिट्टी व काली बेईं के मुद्दे थे। इस दौरान राज्यसभा में जाने को लेकर कोई बात नहीं हुई।

ऐसे भर दी राज्यसभा में जाने की हामी
प्र. आपको कब पता चला कि आपको राज्यसभा के लिए नामजद किया जा रहा है? 
उ.
इस पर संत जी ने बताया कि समागम के बाद शाम के समय मुख्यमंत्री साहिब का मुझे फोन आया कि बाबा जी हम आपको राज्यसभा में भेजना चाहते हैं। इस दौरान मैंने उन्हें साफ मना कर दिया कि यह हमारे बस की बात नहीं है। इस पर भगवंत मान ने मुझे बताई गई समस्याओं का वास्ता देकर कहा कि आप राज्यसभा में जाकर खुद इन मुद्दों को उठा सकते हैं लेकिन मैंने फिर इंकार कर दिया। रात को दोबारा मुख्यमंत्री मान के साथ बातचीत हुई। 

इस दौरान सी.एम. ने मुझसे कहा कि जैसे आप चाहते हैं हम न तो राज्यसभा में भेजकर आपको सियासी समागमों में शामिल होने के लिए कहेंगे और न ही आप किसी चुनावी मुहिम का हिस्सा बनेंगे, आप सिर्फ राज्यसभा में पंजाब के मसलों की बात करें। यदि आप सरगर्म सियासत में नहीं आना चाहते हैं तो भी पार्टी आपको राज्यसभा भेजने के लिए तैयार है। इसके साथ ही उन्होंने मुझे सुबह 10 बजे तक सोचकर जवाब देने की बात कही। मैंने सुबह संगत के साथ विचार-विमर्श किया तथा संगत के कहने पर आखिर राज्यसभा में जाने की लिए हामी भर दी।

राज्यसभा में वातावरण और पंजाब के मुद्दे उठाता रहूंगा
प्र. क्या अब आप सरगर्म सियासत में नहीं आएंगे? 
उ.
इस पर उन्होंने कहा कि सी.एम. भगवंत मान के साथ बातचीत के दौरान ही यह साफ कर दिया गया था। मैं सरगर्म सियासत का हिस्सा न बनकर राज्यसभा में वातावरण और पंजाब के मुद्दे उठाता रहूंगा ताकि पंजाब की जवानी और वातावरण को बचाया जा सके। पार्टी को भी लगता है कि मैं राज्यसभा में रह कर हवा, मिट्टी, पानी और गुरबाणी के सिद्धांत की बात कर सकता हूं।
 
सियासत के साथ मेरा कोई संबंध नहीं
प्र. क्या आपको नहीं लगता कि राज्यसभा में जाने से आप सियासत से जुड़ जाएंगे? 
उ.
इस पर संत ने कहा कि सियासत के साथ मेरा कोई दखल या संबंध नहीं है। मैं सीचेवाल गांव का 10 वर्ष तक सरपंच भी रहा लेकिन कभी वोट डलवा कर नहीं बल्कि गांव वासियों द्वारा सर्वसम्मति से। लेकिन यदि आप मुझे राज्यसभा में भेजना चाहते हैं और मैं न जाऊं और कोई और चला जाए।इस तरह से वातावरण के मुद्दे इस स्तर तक नहीं पहुंचा पाऊंगा जैसे बतौर राज्यसभा मैंबर उठाए जा सकते हैं बाकी पार्टी को भी साफ कर दिया गया है कि मैं सरगर्म सियासत का हिस्सा नहीं रहूंगा। मैंने इसको एक चैलेंज मानकर स्वीकार कर लिया है।

नौजवानों का मुद्दा पहल के आधार पर उठाऊंगा
प्र. राज्यसभा में कौन से मुद्दे पहल के आधार पर उठाए जाएंगे? 
उ.
इस पर संत का जवाब था कि दिल्ली पहुंचकर पहल के आधार पर धरती, पानी और पंजाब के बाहर जा रहे पैसों की बात करूंगा। पंजाब के नौजवान विदेशों का रुख कर रहे हैं, उनका मुद्दा पहल के अधार पर उठाया जाएगा।

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News Editor

Urmila

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