इम्प्रूवमैंट ट्रस्ट के महत्वपूर्ण रिकार्ड के गुम होने पर सस्पेंस बरकरार

punjabkesari.in Thursday, Apr 28, 2022 - 05:12 PM (IST)

जालंधर (चोपड़ा): इम्प्रूवमैंट ट्रस्ट की विभिन्न स्कीमों से संबंधित महत्वपूर्ण रिकार्ड के गुम होने के मामले में बना सस्पेंस अभी भी बरकरार है। एक तरफ डिप्टी कमिश्नर घनश्याम थोरी ने ई.ओ. परमिंदर सिंह गिल की रिपोर्ट पर 120 फाइलों के गुम होने को लेकर पुलिस कमिश्नर गुरप्रीत सिंह तूर को पत्र लिखकर रिकार्ड को खुर्दबुर्द करने के दोषियों पर एफ.आई.आर. दर्ज करने की सिफारिश करते हुए रिकॉर्ड को बरामद करने को कहा है। वहीं ट्रस्ट के रिकार्ड रूम में रिकार्ड रजिस्टर में दर्ज यह सभी 120 फाइलें सीनियर सहायक अजय मल्होत्रा के नाम पर चढ़ी हुई है और गत दिन ही मल्होत्रा ने एकाएक ट्रस्ट के रिकॉर्ड रूम में जाकर 70 फाइलों को ढूंढ निकालने का दावा किया है।

इसके उपरांत ट्रस्ट ई.ओ. और सीनियर सहायक आमने सामने आ गए है। इसी कड़ी में आज सीनियर सहायकों अजय मल्होत्रा ने एक अन्य सीनियर सहायक अनुज के साथ पुलिस कमिश्नर से मुलाकात की और उन्हें बरामद हुए रिकार्ड संबंधी बनाई वीडियों और ई.ओ. पर उन्हें साजिश के तौर पर बदनाम करने को लेकर बनती कार्रवाई को लेकर एक शिकायत भी सौंपी। मल्होत्रा ने कहा कि गुम हुए रिकॉर्ड को लेकर उसे न तो कभी कुछ पूछा गया और न ही उन्हें कोई नोटिस जारी किया गया था, जबकि सारा रिकार्ड पहले ही रिकॉर्ड रूम में पड़ा था। इसके साथ ही सीनियर सहायक डिप्टी कमिश्नर कम चेयरमैन को भी शिकायत देने उनके कार्यालय पहुंचे परंतु डिप्टी कमिश्नर के फील्ड में होने के कारण मुलाकात नहीं हो सकी।

वहीं ई.ओ. परमिंदर सिंह गिल ने ट्रस्ट रिकार्ड में गुम हुई 120 फाइल में से 70 फाइलें मिलने को नकारते हुए कहा कि उन्हें कोई नहीं मिली, जब मिलेगी वह तब ही कुछ बताएंगे। उन्होंने कहा कि ट्रस्ट ने 50 से अधिक स्कीमों को विकसित किया है और इन स्कीमों में एस.सी.ओ., बूथों सहित रिहायशी व कमर्शियल प्लाटों से संबंधित 50 हजार के करीब फाइलें हैं। उन्होंने कहा कि रिकार्ड रूम में रजिस्टर लगाया हुआ है और किसी भी अधिकारी या कर्मचारी द्वारा कोई फाइल प्राप्त करने पर इस रजिस्टर में समुचित एंट्री की जाती है और फाइल वापस लौटने पर अधिकारी व कर्मचारी के नाम पर चढ़ी उक्त एंट्री को काट दिया जाता है।

उन्होंने कहा कि 120 फाइलों के ट्रस्ट के रिकार्ड में मल्होत्रा के नाम पर ही पेंडिंग होने के हिसाब से ही रिपोर्ट बनी थी। ई.ओ. ने कहा कि मल्होत्रा द्वारा उसे जानबूझ कप फंसाने के सभी आरोप सरासर झूठे हैं। दोषियों के खिलाफ एफ.आई.आर. को लेकर डिप्टी कमिश्नर कम चेयरमैन और उन्होंने सी.पी. को पत्र लिखा गया है परंतु अभी पुलिस कार्रवाई के बारे में उन्हें कुछ पता नहीं है। अब देखना होगा कि ट्रस्ट अधिकारियों और कर्मचारियों के बीच तक रहा आरोप-प्रत्यारोप का सिलसिला आने वाले दिनों में क्या रंग दिखाता है।

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News Editor

Kalash