पंजाब में शराब का रेट चंडीगढ़-हरियाणा से दोगुना, सरकार नई पॉलिसी लाने को तैयार

punjabkesari.in Friday, Feb 15, 2019 - 08:56 AM (IST)

मलोट (गोयल): पंजाब में चंडीगढ़ की शराब बेचे जाने का धंधा अब उद्योग का रूप ले चुका है। इसका एक बड़ा कारण पंजाब में शराब का रेट चंडीगढ़ व हरियाणा से दोगुना होना है। 2 वर्ष पूर्व राज्य में जब कांग्रेस सरकार ने सत्ता संभाली थी तब इस बात पर विचार किया गया था कि पंजाब में शराब की सरकारी दुकानें खोली जाएं किन्तु सरकार ने ज्यादा राजस्व मिलने के अनुमान के चलते फिर से राज्य में शराब को प्राइवेट हाथो में दे दिया जिस कारण पंजाब में शराब के रेट में भारी वृद्धि हुई और लोगों ने हरियाणा व चंडीगढ़ से शराब लाकर बेचने का धंधा बड़े पैमाने पर शुरू कर दिया।

भारी मुनाफे के कारण कई लोगों ने शराब बेचे जाने के इस कार्य को हाथोंहाथ लिया और शराब के इस धंधे का अब यह आलम है कि एक फोन पर शराब की बोतल की होम डिलीवरी तक हो जाती है। इस मामले में मजेदार पहलू यह भी है कि आम लोगों में यह भी धारणा है कि चंडीगढ़ की शराब पंजाब की शराब से बेहतर है। बेशक लोग इस के पीछे अलग-अलग कारण बताते हैं पर लगता है कि चंडीगढ़ की शराब बेचने वालों ने भी लोगों में यह धारणा बनाने का कार्य किया है ताकि लोग चंडीगढ़ की शराब को प्राथमिकता दें।

स्थानीय शराब ठेकेदारों ने नुक्सान से बचने के लिए अपने लोगों की टीमें भी बनाई हुई हैं जो पुलिस को समय-समय पर अवैध शराब बेचने वालों की सूचना देकर पकड़वाने का कार्य करती हैं। साथ में शराब ठेकेदारों के लोग व संबंधित विभाग के कर्मचारियों की सहायता से मैरिज पैलेसों, होटलों व अन्य स्थानों पर पंजाब के बाहर से आई शराब परोसने पर भी नजर रखते हैं, जिस कारण विवाद भी पैदा होते रहते हैं। यही कारण है कि हरियाणा-चंडीगढ़ की शराब को ज्यादातर घरों और महफिलों में ही प्रयोग में लाया जा रहा है। 

सस्ती के चक्कर में नकली शराब भी बिक रही है 
पंजाब में बिकने वाली सस्ती अवैध शराब के चक्कर में नकली शराब भी बिक रही है। इस गोरखधंधे का खुलासा तब हुआ जब आबकारी विभाग अमृतसर ने छापामारी के दौरान शराब की नकली पैकिंग करने वाले गिरोह का भंडाफोड़ किया। विभाग ने छापामारी करके गिरोह के कुछ लोगों को पकड़ा जो महंगी शराब की पैकिंग करते थे। इनके पास से 25 पेटी शराब भी बरामद की गई। इन लोगों से बड़ी मात्रा मे होलोग्राम भी बरामद हुए जो शराब को असली साबित करने के काम आते थे। इन लोगों ने माना कि वह लोग ऐसी विदेशी बोतलें भी पैक करते थे जो शराब भारत में नहीं मिलती और इस कथित विदेशी शराब के मुंहमांगे रेट वसूलते थे। इस मामले से साफ है कि सस्ती के चक्कर में नकली शराब भी धड़ल्ले से बिक रही है। 

शराब तस्करी से सरकार को हुआ 700 करोड़ का नुक्सान
पंजाब सरकार ने चालू वित्त वर्ष में शराब से 6,000 करोड़ रुपए राजस्व एकत्र होने का अनुमान लगाया था किंतु अभी तक के आकलन के मुताबिक यह राजस्व 5,300 करोड़ से ज्यादा एकत्रित होने की संभावना नहीं है, जिसका मुख्य कारण अन्य राज्यों से शराब की तस्करी होना है। इसलिए पंजाब सरकार अगले वित्त वर्ष से नई एक्साइज पॉलिसी लाने पर विचार कर रही है जिससे पंजाब में शराब का रेट 20 फीसदी कम करके शराब तस्करी पर अंकुश लगाना है। सरकार का मानना है कि शराब के रेटों में कमी लाकर शराब के शौकीनों को खुश करने से उन्हें आने वाले लोकसभा चुनाव में फायदा मिल सकता है, साथ ही शराब तस्करी के मामलों में कानूनी प्रक्रिया के चक्कर से बचकर पुलिस अन्य कार्यों पर ध्यान लगा सकती है। 

Anjna