यूथ अकाली दल की जिला प्रधानगी को लेकर अकाली दल में घमासान

punjabkesari.in Sunday, Jan 13, 2019 - 03:16 PM (IST)

जालंधर (बुलंद): यूथ अकाली दल की जालंधर की प्रधानगी को लेकर शहर के अकाली दल में घमासान मचा हुआ है। इस प्रधानगी की दौड़ में आधा दर्जन के करीब युवा अकाली नेता मैदान में उतरे हुए हैं। आलम यह है कि पार्टी हाईकमान के लिए शुरू से ही जालंधर शहर सिरदर्दी बना रहा है और यूथ प्रधानगी को लेकर एक बार फिर से पार्टी हाईकमान की परेशानी जालंधर की गुटबाजी ने बढ़ा दी है। 

पिछली बार जालंधर शहर में यूथ अकाली दल की ओर से 2 युवा प्रधान बनाए गए थे, जिनमें सर्बजीत मक्कड़ गुट के सुखमिंद्र सिंह राजपाल तथा बलजीत सिंह नीलामहल गुट के चरणजीत सिंह मिंटा शामिल थे, पर ताजा जानकारी के अनुसार इस बार पार्टी जालंधर के लिए एक ही युवा प्रधान नियुक्त करने का मूड बना रही है जिसे लेकर युवा अकाली दल के कई नेता इस प्रधानगी पद के लिए एक्टिव हो चुके हैं।

पार्टी सूत्रों की मानें तो पार्टी में इस बार यूथ अकाली दल में नए चेहरों को अवसर देने की मांग जोर पकड़ चुकी है। राजपाल व मिंटा के अलावा इस बार जिन युवाओं का नाम प्रधानगी की दौड़ में आगे चल रहा है उनमें गोल्डी भाटिया, गगनदीप सिंह नागी और राजबीर सिंह शंटी का नाम शामिल है। 

उधर जानकारों की मानें तो इस बार पार्टी द्वारा जालंधर शहर यूथ प्रधान के लिए गैर-सिख को मौका देने पर भी विचार किया जा रहा है, ताकि लोकसभा चुनावों से पहले अकाली दल के हिंदू वर्करों को भी खुश किया जा सके। पार्टी जानकारों की मानें तो अगर अकाली दल की ओर से ङ्क्षहदू नेता को मौका दिया जाता है तो दौड़ में सबसे आगे अमित मैणी का नाम है। 

शुकार का माइंड वाश करने में लगा एक गुट: सूत्र
मामले बारे पार्टी सूत्रों का कहना है कि अकाली दल द्वारा गत दिनों यूथ अकाली दल का दोआबा प्रधान बनाए गए सुखदीप सिंह शुकार पर जालंधर के अकालियों का एक गुट हावी हो चुका है और उसका माइंड वाश करने में लगा है ताकि युवा पदों पर अपने गुट के लोगों को तैनात करवा सके, जिससे पार्टी के अन्य गुटों में रोष है। जानकारों की मानें तो कई अकाली नेता चाहते हैं कि इस बार भी यूथ के  2 प्रधान ही बनाए जाएं ताकि 2 गुटों को खुश रखा जा सके, पर अगर जालंधर का एक ही प्रधान बना और वह भी सिख चेहरा हुआ तो इससे अकाली दल में बड़ा बवाल खड़ा हो सकता है तथा पार्टी को लोकसभा चुनावों से पहले भारी परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है। 

पार्टी सूत्र बताते हैं कि एक गुट के दबाव में शुकार की ओर से एक युवा नेता का नाम फाइनल कर लिया गया था व 2 दिन पहले अनाऊंस भी होने वाला था लेकिन इसी बीच अन्य गुटों की ओर से हाईकमान को भेजे गए नाराजगी वाले मैसेजों के चलते फिलहाल यह नाम रोक लिया गया है। जानकारों के अनुसार कुछ अकाली नेताओं ने मांग की है कि सीनियर अकाली दल के शहरी प्रधान कुलवंत सिंह मन्नण के विदेश से वापस आने के बाद यूथ अकाली दल के प्रधान के नाम पर मोहर लगाई जाए, पर वहीं एक अन्य अकाली गुट अपने खासमखास के नाम का ऐलान करने के लिए दोआबा प्रधान पर दबाव बनाए हुए है। देखना होगा कि इस घमासान में से किसका नाम निकल कर सामने आता है।

Mohit