सैक्शन-9 का गलत इस्तेमाल करने विरुद्ध वूमैन चेयरपर्सन मनीषा गुलाटी ने उठाया यह कदम
punjabkesari.in Sunday, Nov 14, 2021 - 01:25 PM (IST)

अमृतसर (संजीव): दहेज और शारीरिक शोषण से परेशान होकर इंसाफ के लिए अदालत जाने वाली महिलाओं विरुद्ध ससुराल की तरफ से सैक्शन-9 का गलत इस्तेमाल करने विरुद्ध पंजाब स्टेट वूमैन कमीशन अब पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट की तरफ रुख करने जा रहा है। पंजाब स्टेट वूमैन कमीशन की चेयरपर्सन मनीषा गुलाटी का कहना है कि बहुत जल्दी सैक्शन-9 अनुसार दर्ज मामले की सुनवाई को टाइम बाउंड करने की मांग को लेकर हाईकोर्ट में अपील करने के लिए जा रही है। पिछले लंबे समय से उनके पास सैक्शन-9 में परेशान हो रही महिलाओं मामलों की संख्या दिन-ब-दिन बढ़ती जा रही है।
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गिरफ्तारी से बचने के लिए ससुराल परिवार सैक्शन-9 के अंतर्गत अदालत में मामला दर्ज कर लेता है और उसके बाद पीड़ित महिलाओं को अदालती दाव-पेच में उलझा कर उनकी जिंदगी इसमें निकाल देते हैं। ऐसा ही एक मामला उनके पास आया, जिसमें पत्नी की तरफ से पति के दूसरे विवाह करने के भी सबूत दिए गए थे। जब उन्होंने उसके पति को कहा कि वह अपनी पत्नी को घर लेकर जाए तो उसने साफ मना किया और कहा कि सैक्शन-9 अधीन मामला अदालत में है। अदालत के फैसले पर ही वह उसे घर लेकर जा सकता है जबकि उसने अदालत में यही मामला दर्ज किया था कि वह उसे घर ले जाना चाहता है।
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क्या है सैक्शन-9?
महिलाओं की सुरक्षा के लिए तैयार किया गया सैक्शन-9 अब उनके विरुद्ध इस्तेमाल किया जा रहा है। सैक्शन-9 हिंदू विवाह एक्ट के अंतर्गत पत्नी को वापस घर बुलाने के लिए आवेदन दिया जाता है। इस धारा को बनाने के पीछे यही मकसद था कि पति-पत्नी जीवन में सुधार लाया जा सके। पति द्वारा भी इस धारा अधीन अदालत में आवेदन दिया जाता है और उसके बाद अदालत पत्नी को आदेश जारी करती है कि वह अपने ससुराल परिवार जाकर पति के साथ रहे। पत्नी के मना करने पर इस धारा में दिए गए आदेशों उपरांत पति को तालाक लेने के अधिकार बढ़ जाते हैं।
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किस तरह हो रहा गलत इस्तेमाल?
पंजाब महिला कमीशन की चेयरपर्सन मनीषा गुलाटी ने कहा कि जैसे ही पत्नी शारीरिक और दहेज शोषण से परेशान होकर ससुराल परिवार वालों विरुद्ध मामला दर्ज करवाती है तो ससुराल परिवार तुरंत गिरफ्तारी से बचने के लिए धारा 9 अधीन अदालत में जाकर महिलाओं को बसाने का केस कर देता है। फिर उसके बाद वर्षों अदालत में चक्कर लगते हैं। उन्होंने कहा कि वह बहुत जल्दी पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट से अपील करने जा रही है कि सैक्शन-9 में दर्ज किए गए मामलों का निपटारा टाइम बाउंड किया जाए जिससे ससुराल परिवार की इच्छा साफ हो। टाईम बाउंड में ससुराल पक्ष से पत्नी की तरफ से किए गए मामले से बचने के लिए ज्यादा समय नहीं ले पाएगा।
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