पंजाब में बदलने जा रहा मीटर रीडिंग सिस्टम! पावरकॉम ने जारी किए नए निर्देश

punjabkesari.in Tuesday, Nov 11, 2025 - 10:59 AM (IST)

जालंधर (पुनीत): पंजाब सरकार द्वारा घरेलू उपभोक्ताओं को प्रति माह 300 यूनिट मुफ्त बिजली की सुविधा दी जा रही है। नियमों के अनुसार यदि किसी उपभोक्ता की खपत 300 यूनिट से अधिक हो जाती है तो उसे पूरे 300 यूनिट का बिल अदा करना पड़ता है। इसी को देखते हुए कुछ समय से मीटर रीडिंग में गड़बड़ी या फेरबदल की चर्चाएं सामने आती रही हैं। बिल बनाते समय मीटर रीडिंग ऊपर-नीचे करने से सरकार को वित्तीय नुक्सान होता है, वहीं कई बार रीडिंग गलत भरे जाने से गलत बिल भी बन जाते हैं।

इस समस्या को रोकने और बिलिंग सिस्टम को पारदर्शी बनाने के लिए पावरकॉम ने नया ऑप्टिकल कैरेक्टर रिकग्निशन (ओ.सी.आर.) सिस्टम लागू किया है। इस तकनीक के तहत मीटर रीडर को अब मैन्युअल रूप से रीडिंग दर्ज करने की आवश्यकता नहीं होगी। इसके बजाय वह मीटर की स्पष्ट फोटो खींचेगा और सिस्टम उस फोटो से अपने आप रीडिंग को पढ़कर बिजली बिल तैयार करेगा।

Digital Billing

इस प्रक्रिया से मीटर रीडिंग में किसी भी तरह की मानवीय गलती या जानबूझकर की गई गड़बड़ी की संभावना पूरी तरह समाप्त हो जाएगी। ओ.सी.आर. सिस्टम मीटर पर अंकित हर नंबर को स्वचालित रूप से स्कैन कर लेता है और उसी आधार पर बिलिंग सिस्टम में डेटा दर्ज करता है। वहीं, ओ.सी.आर. के अलावा विभाग ने एक और विकल्प भी रखा है। जिन स्थानों पर नैटवर्क या कैमरा से संबंधित दिक्कतें होंगी, वहां मशीन के साथ लीड जोड़कर मीटर को सीधे सिस्टम से जोड़ दिया जाएगा। इस स्थिति में मशीन खुद ही रीडिंग उठा लेगी और बिल बन जाएगा।

मीटर रीडिंग का ठेका हाल ही में फ्यूजन नामक कम्पनी को दिया गया है। नई कम्पनी को ओ.सी.आर. आधारित बिलिंग सिस्टम को तुरंत लागू करने के निर्देश दिए गए हैं। इससे बिलिंग प्रक्रिया पूरी तरह डिजिटल हो जाएगी और किसी भी प्रकार की छेड़छाड़ की संभावना खत्म हो जाएगी। नई प्रणाली लागू होने से उपभोक्ताओं को सही बिल मिलेगा, ऐसे में गलत बिल बनने के बाद दफ्तरों के चक्कर लगाने की जरूरत भी नहीं पड़ेगी। उपभोक्ता अपनी रीडिंग खुद मीटर से मिलान कर सकेंगे। फिलहाल नई कम्पनी को ठेका देने के बाद सिस्टम अप-टू-डेट करने में समय लग रहा है। इसी के चलते विभाग को एन.कोड वाली गलत बिलिंग को लेकर शिकायतें मिल रही है।

नया सिस्टम लाभदायक रहेगा : अधिकारी

अधिकारियों ने कहा कि नया सिस्टम लाभदायक रहेगा, इसकी टैस्टिंग भी की गई है, जोकि सफल रही है। इससे उपभोक्ता के गलत बिल बनने की समस्या खत्म हो जाएगी। इससे यह सुनिश्चित किया गया है कि कोई भी उपभोक्ता न तो अधिक बिल चुकाए और न ही मुफ्त बिजली योजना का गलत ढंग से इस्तेमाल हो सके। ओ.सी.आर. सिस्टम से बिलिंग शुरू होते ही विभागीय राजस्व में स्थिरता आएगी और पारदर्शिता बढ़ेगी।

बिजली चोरी रोकने पर होगा अगला फोकस

वहीं, अधिकारियों ने कहा कि बिलिंग सिस्टम में किए गए बदलाव लागू होने के बाद और भी बिजली चोरी रोकने जैसे कई बदलाव किए जाएंगे। इसके लिए विभाग द्वारा रोड मैप बनाया गया है। इसी क्रम में बिजली चोरी रोकने को लेकर कई आवश्यक कदम उठाए जा रहे है, जिससे बिजली चोरी पर बड़े स्तर पर नकेल लगेगी। इससे विभाग को होने वाले वित्तीय नुकसान में कमी आएगी।

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News Editor

Urmila