रावी दरिया में बने अवैध रास्तों से आतंकी राज्य में प्रवेश करके दे सकते हैं अप्रिय घटना को अंजाम!

punjabkesari.in Sunday, Jan 20, 2019 - 08:55 AM (IST)

सुजानपुर(ज्योति): मुख्यमंत्री कैप्टन अमरेन्द्र सिंह ने विस चुनावों में जनता के साथ वायदा किया था कि वह पूर्व अकाली-भाजपा सरकार द्वारा रेत-बजरी पर लगाएं गए गुंडा टैक्स को समाप्त करके उन्हें सस्ते दामों पर रेत-बजरी मुहैया करवाएंगे और मुख्यमंत्री ने सत्ता संभालते ही अपने इस वायदे को पूर्ण से अमलीजामा पहना दिया।

उन्होंने राज्य में माइनिंग पर भी पूर्ण रूप से रोक लगा दी ताकि इस गोरखधंधे पर अंकुश लग सके। अब हैरानी की बात यह है कि क्रशर इंडस्ट्री के मालिक जम्मू-कश्मीर के क्रशर इंडस्ट्री मालिकों की सहमति से वहां से कच्चा माल मंगवाते हैं और उक्त कच्चे माल को अपने क्रशरों तक लाने के लिए भारत-पाकिस्तान की अंतर्राष्ट्रीय सीमा के साथ महत्वपूर्ण कस्बा बमियाल (पंजाब) व जम्मू-कश्मीर के प्रवेश द्वार माधोपुर के समीप बसे गांव बेडिय़ा बुजुर्ग के अधीन बहते रावी दरिया के बीच अवैध रास्ते बना लिए हैं।

इसके जरिए क्रशर मालिक कच्चे माल को अपने क्रशरों तक पहुंचाने में दिन-रात कामयाब हो रहे हैं। यह लोग अपने क्रशरों पर पक्का माल तैयार करके पंजाब राज्य में सप्लाई कर रहे हैं, जिससे राज्य सरकार के राजस्व को तो चूना लग ही रहा है साथ ही उक्त अवैध रास्ते से राज्य की सुरक्षा को भी प्रश्न चिन्ह लगा रहा है। इतना ही नहीं नशा व पशु तस्कर भी इन्हीं रास्तों से नशा व पशु तस्करी की वारदातों को अंजाम दे रहे हैं। उल्लेखनीय है कि इन अवैध रास्तों की आड़ में कोई भी संदिग्ध आतंकवादी राज्य में प्रवेश करके किसी भी प्रकार की अप्रिय घटना को अंजाम दे सकते हैं।

केन्द्र व राज्य सरकार को तुरंत उक्त अवैध रास्तों को बंद करवाना चाहिए
दीनानगर थाने एवं उसके पश्चात एयरफोर्स स्टेशन पठानकोट पर हुए आतंकवादी हमले में आतंकवादी ऐसे ही रास्तों का प्रयोग करके जिला पठानकोट में प्रवेश हुए थे लेकिन हमारे वीर जवानों ने उनके मंसूबों को नाकाम कर दिया था। रावी दरिया में क्रशर मालिकों द्वारा अवैध रास्ते बनाने से पहले उन्हें सोचना चाहिए था कि इससे भारत की सुरक्षा भी खतरे में पड़ सकती है। ऐसे में सवाल यह उठता है कि जम्मू-कश्मीर पुलिस भी इस ओर अपना कोई ध्यान क्यों नहीं दे रही है। राज्य व केन्द्र सरकार को चाहिए कि वे इन अवैध रास्तों पर तुरंत कार्रवाई कर पहल के आधार पर बंद करवाए ताकि भारत में आतंकवादी संगठन इन अवैध रास्तों की आड़ में कोई अनहोनी घटना को अंजाम न दे सकें।

केन्द्र व राज्य सरकार को तुरंत उक्त अवैध रास्तों को बंद करवाना चाहिए
रावी दरिया में हर समय पानी उफान पर रहता है। ऐसे में ट्रैक्टर-ट्राली चालक अपनी जान जोखिम में डालकर अवैध रास्तों के जरिए रावी दरिया को पार करके कच्चे माल की ढुलाई कर रहे हैं तथा दिन में 15 से 20 चक्कर लगाकर जम्मू-कश्मीर सरकार को हजारों रुपए का प्रतिदिन चूना लगा कर स्वयं मोटी कमाई कर रहे हैं। सीमैंट सहित अन्य तस्करी के सामान की सप्लाई शाम ढलते ही शुरू हो जाती है, जबकि दूसरी तरफ देखा जाए तो जम्मू-कश्मीर सरकार द्वारा 8 जनवरी 2019 से जम्मू-कश्मीर से दूसरे राज्य में क्रशर, रेत, बजरी आदि सामग्री भेजने हेतु प्रति किं्वटल 5 रुपए टोल लगाया गया है, जबकि सीमैंट पर सरकार की ओर पिछले लम्बे समय से एक रुपए प्रति किलो के हिसाब से टोल टैक्स लगाया गया है ताकि जम्मू-कश्मीर सरकार के राजस्व को फायदा पहुंच सके। इस रास्ते से रात्रि के समय तस्करी करने वालों का तो अनुमान ही नहीं लगाया जा सकता है। 

पंजाब केसरी’ पहले भी चेता चुकी है प्रशासन को
‘पंजाब केसरी’ समाचार पत्र की ओर से पहले भी उक्त अवैध रास्तों को लेकर प्रशासन व सरकार को चेताया गया था। जिसके चलते जम्मू-कश्मीर सरकार ने पहल करते हुए उक्त अवैध रास्तों को बंद करवा दिया था, किन्तु कुछ समय तक तो सब कुछ ठीक ठाक रहा, लेकिन उसके बाद क्रशर मालिकों ने प्रशासन व सरकारों को ठेंगा दिखाकर पुन: रावी दरिया में अवैध रास्ते बनाकर अपने कारोबार को अंजाम देना शुरू कर दिया। जिसके चलते प्रशासन की नाकामी साफ उजागर होती है इसलिए दोनों राज्यों के प्रशासन को चाहिए कि वे अवैध रास्तों पर तत्वरित कार्रवाई करके वहां से होने वाले अवैध कारोबार पर भी लगाम लगाए ताकि जम्मू-कश्मीर सरकार के राजस्व को फायदा पहुंच सके। 

जम्मू-कश्मीर से पंजाब राज्य में जाने वाले रेत, बजरी पर प्रति क्विंटल के 5 रुपए व सीमैंट पर1 रुपए प्रति किलो के हिसाब से टोल वसूलने हेतु आदेश जारी किए गए थे, लेकिन यदि कोई व्यक्ति अवैध रास्तों के जरिए माल को जम्मू-कश्मीर से पंजाब ले जा रहा है तो उसके खिलाफ शीघ्र उचित कार्रवाई की जाएगी और इन अवैध रास्तों को त्वरित बंद किया जाएगा।-आशीष गुप्ता जिला उपायुक्त लखनपुर टोल।

 


सबसे ज्यादा पढ़े गए

swetha

Recommended News

Related News