सख्ती के बावजूद निजी स्कूल आदेशों की उड़ा रहे धज्जियां, कर रहे मनमर्जी

punjabkesari.in Saturday, Apr 06, 2024 - 02:26 PM (IST)

लुधियाना (विक्की): निजी स्कूलों में विद्यार्थियों को किताबें व वर्दियां बेचने की मिल रही शिकायतों की जांच के लिए डी.सी. साक्षी साहनी के आदेशों पर डी.ई.ओ. द्वारा बनाई गई जांच टीमों के औचक निरीक्षण का डर शायद कई स्कूलों को नहीं है। यही वजह है कि कुछ स्कूलों में अभी भी किताब विक्रेता बुक्स बेच रहे हैं। शुक्रवार को ऐसी ही एक शिकायत डी.सी. के पास पहुंचने के बाद विभाग की जांच टीम ने बी.आर.एस. नगर स्थित एक स्कूल में चैकिंग की।

डी.ई.ओ. की ओर से डी.सी .को भेजी गई जांच रिपोर्ट में बताया गया है कि उक्त बारे टैलीफोन पर प्राप्त शिकायत के आधार पर प्रिंसीपल प्रदीप कुमार व रविंद्र सिंह पर आधारित जांच टीम ने स्कूल में जाकर चैकिंग की तो वहां किताबों के 12 डिब्बे पाए गए जिनमें से कुछ डिब्बे बंद व कुछ खुले हुए थे।

जांच टीम के मुताबिक ये किताबें विभिन्न कक्षाओं के विद्यार्थियों को बांटी जानी थीं। वहीं रिपोर्ट में डी.ई.ओ. ने बताया है कि स्कूल प्रिंसीपल ने जांच टीम को भरोसा दिया कि स्कूल में किताबें नहीं बेची जाएंगी और फीस रैगुलेटरी एक्ट को पूरी तरह से लागू किया जाएगा। डी.ई.ओ. ने बताया कि उक्त जांच की रिपोर्ट डी.सी. को सौंप दी गई है।

चुनावी ड्यूटी में व्यस्त जांच टीम के अधिकारी, लटक रही निजी स्कूलों की जांच

निजी स्कूलों में चल रही कमर्शियल गतिविधियों की मिल रही शिकायतों की जांच के लिए डी.सी. के आदेशों पर डी.ई.ओ. द्वारा बेशक विभिन्न कमेटियां बना दी गई हैं लेकिन कमेटी बनाते समय यह ध्यान नहीं दिया गया कि जिन मैंबरों को इसमें शामिल किया गया है, उनमें से अधिकतर की ड्यूटी तो चुनावों में भी लगी हुई है।

शिक्षा विभाग की ढीली कार्यप्रणाली के चलते जांच टीमें अभी तक अपनी चैकिंग पूरी नहीं कर पाई हैं जबकि डी.ई.ओ. ने भी अपने आदेशों में 4 अप्रैल तक रिपोर्ट मांगी थी। चैकिंग टीमों में शामिल कुछ मैंबरों ने बताया कि उनकी चुनावी डयूटी भी लगी हुई है जिसकी आए दिन मीटिंगें होती हैं। ऐसे में निजी स्कूलों की चैकिंग किस समय की जाए, इसका शैड्यूल बन ही नहीं पा रहा।

हालांकि पहले 2 दिन तो कुछ टीमों ने कई नामी स्कूलों में चैकिंग करके रिपोर्ट तैयार कर ली। वहीं कुछ टीमें ऐसी हैं जिनमें शामिल मैंबर चुनावी डयूटी में ही व्यस्त हैं। ऐसे में उनका कहना है कि चैकिंग के लिए वे अकेले स्कूलों में कैसे जा सकते हैं। अब देखना यह है कि विभाग इन टीमों में पहले शामिल किए गए मैंबरों में कुछ बदलाव करता है या फिर रिपोर्ट पेश करने का समय कुछ आगे बढ़ाता है।

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News Editor

Urmila

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