रेलवे ने स्टेशन पर मुसाफिरखानों में नहीं किए यात्रियों के लिए प्रबंध

punjabkesari.in Wednesday, Dec 13, 2017 - 04:11 PM (IST)

लुधियाना (विपन): यही हाल रेलवे स्टेशन पर देरी से चल रही ट्रेनों का इंतजार करने वाले यात्रियों का है। यहां भी मुसाफिरखानों में रेलवे ने यात्रियों के लिए कोई खास प्रबंध नहीं किए हैं। जिस कारण छोटे बच्चों और वृद्ध यात्रियों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ता है। 

बनारस की ट्रेन पकडऩे के लिए घर से निकले हैं, साथ में छोटे-छोटे बच्चे हैं। प्लेटफार्म पर बैठने के लिए कुर्सियां खाली नहीं होने के चलते मजबूरन बच्चों सहित जमीन पर बैठ कर ट्रेन का इंतजार करना पड़ रहा है। रेल प्रशासन प्लेटफार्मों पर यात्रियों के बैठने की उचित व्यवस्था करे।
-मीना कुमारी यात्री।


रेलवे आए दिन किराया बढ़ाने की बातें तो करता रहता है लेकिन किराया बढ़ाने के बाद भी रेल प्रशासन आज तक यात्रियों को ट्रेनों के इंतजार के लिए मौसम अनुसार बैठने की उचित व्यवस्था जैसी मूलभूत सुविधाएं प्रदान नहीं कर पाया है। रेल प्रशासन यात्रियों को मूलभूत सुविधाएं व सुरक्षित यात्रा प्रदान करने के लिए ठोस कदम उठाए जिनसे यात्रियों को राहत मिल सके।     -वीरेन्द्र कुमार यात्री।

दिल्ली जाने के लिए ट्रेन पकडऩे आया था। ट्रेन देरी से चल रही है जिस कारण इंतजार कर रहे हैं। दिन में इतनी ठंड है जो सहन नहीं हो रही तो रात में यात्रियों का क्या हाल होता होगा। रेल प्रशासन यात्रियों के लिए स्टेशन पर किराए पर कंबल देने की योजना बनाए जिससे यात्री रात को ठंड से अपना बचाव कर सकें। 
    - रमा शंकर, यात्री।

यात्रियों के लिए प्रतीक्षालयों की संख्या बढ़ाई जाएगी जिसके लिए रेलवे परिसर में जगह सुनिश्चित होने पर निर्माण शुरू किया जाएगा। यात्री पहले अपनी ट्रेन के बारे में रेलवे पूछताछ नंबर या रेलवे की अधिकृत वैबसाइट से पुख्ता जानकारी लेकर ही घर से निकले। रेल प्रशासन भी 1 घंटे से अधिक चलने वाली ट्रेनों के बारे में उनके फोन पर संदेश भेजकर जानकारी देने की योजना शुरू कर चुका है।     -अभिनव सिंगला, स्टेशन निदेशक।

लखनऊ के लिए ट्रेन पकडऩी है इतनी कड़ाके की सर्दी में यात्री खुले आसमान के नीचे बैठ ट्रेनों का इंतजार करने में मजबूर हैं। रेल प्रशासन और कुछ नहीं तो कम से कम प्रतीक्षालयों की संख्या बढ़ाए या यात्रियों के लिए रेलवे परिसर में शैड डलवाए जाएं जिससे उनको कुछ राहत मिल सके।
-प्रमोद कुमार, यात्री।


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Recommended News

Related News