4 दिनों तक थमा बसों का पहिया, सरकार को हुआ इतने करोड़ों का नुकसान

punjabkesari.in Wednesday, Nov 16, 2022 - 01:05 PM (IST)

जालंधर: बटाला डिपो के कंडक्टर को बहाल करने के उपरांत पनबस-पी.आर.टी.सी. यूनियन ने हड़ताल को वापस ले लिया है। इसके चलते 6600 से अधिक कर्मचारी आज काम पर लौट आए हैं। बंद पड़ी 3200 से अधिक बसें चलने से यात्रियों, विभागीय अधिकारियों व सरकार ने राहत की सांस ली है। इन 4 दिनों की हड़ताल में 7000 के करीब काऊंटर टाइम मिस होने से विभाग को 13 करोड़ से अधिक का नुक्सान झेलना पड़ चुका है। पनबस-पी.आर.टी.सी. यूनियन ने कहा कि उन्होंने हड़ताल को स्थगित किया है, यदि लम्बित मांगें 15 दिन के भीतर पूरी नहीं की गईं तो वे सख्त फैसले लेने को मजबूर हो जाएंगे जिसके लिए सरकार की नीतियां जिम्मेदार होंगी। 

पंजाब भर में डिपुओं के समक्ष चेतावनी रैली करने के बाद 6600 के करीब कर्मचारियों ने आज ड्यूटी ज्वाइन कर ली। बसों का परिचालन शुरू होने के बाद काऊंटरों पर यात्रियों की भारी भीड़ उमड़ी नजर आई। इंटर स्टेट बसों का परिचालन पिछले दिनों से ठप्प रहने के कारण परेशानी झेल रहे यात्रियों को आज भी पूरी तरह से राहत नहीं मिल पाई क्योंकि बसों में भारी रश होने के कारण यात्रियों को खड़े होकर सफर करना पड़ा। हड़ताल खुलते ही प्राइवेट बसों का रश सरकारी बसों में तबदील होता नजर आया।

मांगें न मानीं तो पुन: शुरू होगा संघर्ष

ट्रांसपोर्ट मंत्री लालजीत सिंह भुल्लर के प्रयासों से हड़ताल स्थगित हो पाई है। पनबस-पी.आर.टी.सी. यूनियन के कर्मचारियों ने डिपुओं के समक्ष चेतावनी रैली करके एकजुटता का प्रमाण दिया। यूनियन के प्रदेश प्रवक्ता दलजीत सिंह जल्लेवाल, डिपो-2 के प्रधान सतपाल सिंह सत्ता, डिपो-1 से गुरप्रीत सिंह भुल्लर, बलजिंद्र सिंह राठ ने कहा कि मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव हिमांशु जैन द्वारा 15 दिनों के भीतर मुख्यमंत्री से मीटिंग करवाने का आश्वासन दिया गया है। दलजीत सिंह ने कहा कि विभाग ने फिरोजपुर से तबदील किए गए कर्मचारियों को वापस तैनाती हेतु 7 दिन का समय मांगा है व सस्पैंड कर्मचारी को तुरन्त प्रभाव से बहाल कर दिया गया है। सतपाल सिंह ने कहा कि सरकार ने दिए गए समय के भीतर उनकी मांगें न मानीं तो वे संघर्ष करने को मजबूर हो जाएंगे।

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Content Writer

Sunita sarangal

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