सिद्धू मूसेवाला हत्याकांड में ''जेक स्पैरो और ''जय हो'' का कोडवर्ड बना रहस्य
punjabkesari.in Thursday, Jun 23, 2022 - 04:26 PM (IST)
लुधियाना : सिद्धू मूसेवाला हत्याकांड मामले में पुलिस की गिरफ्त में आए संतोष यादव और सौरभ महाकाल ने पूछताछ में कई खुलासे किए हैं। उन्होंने 2 कोडवर्ड का भी जिक्र किया है। पुलिस के मुताबिक 'जेक स्पैरो' नाम वाले शख्स का काम आरोपियों को हथियार मुहैया कराना था, जबकि 'जय हो' नाम के शख्स काम उन्हें आर्थिक मदद देना था, जिसकी पुलिस बारीकी से जांच कर रही है। लुधियाना पुलिस ने एक ऐसे शख्स को गिरफ्तार किया है जिस पर लॉरेंस बिश्नोई के भाई को नकली पासपोर्ट से विदेश भागने में मदद करने का आरोप है। पुलिस यह भी दावा कर रही है कि उसी आरोपी ने कुख्यात बंटी बाजवा हत्याकांड के मुख्य आरोपी को विदेश भेजने में मदद की थी।
सिद्धू मूसेवाला को मारने के लिए कई बार रेकी कर चुके हत्यारों ने उसके गांव की हर गली और सड़क का पूरा नक्शा तैयार किया। कई महीनों से रेकी की प्रैक्टिस कर रहे आरोपियों ने लगातार 15 दिनों तक मूसेवाला का पीछा किया और नौवीं बार वारदात को अंजाम दिया।
सिद्धू मूसेवाला हत्याकांड में 2 और शूटर और एक अन्य की गिरफ्तारी के बाद पूछताछ में पता चला कि मुसेवाला को मारने के लिए शूटरों द्वारा इस्तेमाल किए गए हथियार ड्रोन से पाकिस्तान से आए थे। प्रियवर्त उर्फ फौजी को ड्रोन से हथियार मुहैया कराए गए। हथियारों में 8 ग्रेनेड, एक अंडर बैरल ग्रेनेड लांचर, 9 इलेक्ट्रिक डेटोनेटर और एक एके-47 शामिल थे। एक मीडिया रिपोर्ट में एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी के हवाले से बताया गया कि प्रियवर्त को कनाडा के गैंगस्टर गोल्डी बराड़ ने अप्रैल में हत्या के लिए 4 लाख रुपए का भुगतान किया था।
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