इन जिलों में मात्र 40 रुपए में बिक रही है सरेआम 'मौत', नहीं बची श्मशान में संस्कार के लिए जगह

punjabkesari.in Saturday, Aug 01, 2020 - 12:31 PM (IST)

तरनतारन (रमन): जिले में गुरुवार और शुक्रवार दौरान करीब दो दर्ज व्यक्तियों की जहरीली शराब पीने से मौत हो गई। मृतकों के अंतिम संस्कार के बाद मीडिया जरिए जागे प्रशासन को हाथों-पैरों की पड़ गई। इसके अंतर्गत थाना सदर तरनतारन की पुलिस की तरफ से 2 आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई करते हुए केस दर्ज कर लिया गया है। गरीब परिवारों से संबंधित मृतकों के परिवारिक सदस्यों का रो-रो कर बुरा हाल हो गया है। गौर हो कि जिले भर में रोजाना दिन रात घर-घर में बिकने वाली देसी शराब को 40 रुपए प्रति गिलासी के हिसाब से बेचा जा रहा है, जिसको रोकने के लिए पुलिस को सख्त कदम उठाने की जरूरत है।

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जानकारी के अनुसार जिले में अवैध शराब का धंधा काफी जोरों पर चल रहा है, जिसको रोकने के लिए पुलिस असफल साबित हो रही है। इसके साथ ही इस काले कारोबार के धंधेबाजों का नैटवर्क गुरदासपुर और अमृतसर तक जुड़ा हुआ होने के कारण इसकी निरंतर सप्लाई जारी रहती है। गुरुवार शाम को गरीब परिवारों से संबंधित व्यक्तियों की तरफ से जब सस्ती शराब पीने के लिए पंडोरी गोला, नौरंगाबाद, मोहल्ला जस्से वाला आदि गांवों का रास्ता पकड़ा तो उनको यह नहीं पता था कि वह अपनी जिंदगी में नशे का आखिरी बार सेवन लेने जा रहे हैं। इस देसी शराब को किसी जहरीले केमिकल के साथ तैयार करने वाले अपनी मोटी कमाई के चक्कर में दो दर्जन व्यक्तियों की जान का कारण बन गए। शराब पीने दौरान ज्यादातर व्यक्तियों की आंखों के आगे अंधेरा आ गया और वह बीमार होना शुरू हो गए, जिनको गुरु नानक देव मल्टी स्पैशलटी अस्पताल, सरकारी अस्पताल के अलावा ओर निजी अस्पतालों में परिवारों द्वारा दाखिल करवाया गया। जहां उनकी मौत हो गई, जबकि कई सोए पड़े ही रह गए।

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पहले भी हो चुकी हैं 3 मौतें
करीब 15 दिन पहले गांव रटौल में जहरीली शराब पीने से 3 व्यक्तियों की मौत हो चुकी है, जबकि एक व्यक्ति की आंखों की रौशनी चली गई। इस शराब माफिया को नकेल डालने के लिए मीडिया की तरफ से जब खबरें प्रकाशित की गई तो पुलिस ने एक व्यक्ति के खिलाफ केस दर्ज कर खाना पूर्ति कर दिखाई। 


शराब के धंधे में महिलाएं भी शामिल 
स्थानीय स‘चखंड रोड और पुलिस चौंकी टाऊन नजदीक इलाके में कुछ महिलाएं काफी लंबे समय से शराब के काले धंधे जरिए लोगों के साथ खिलवाड़ कर रही हैं, जिनको काबू करने के लिए पुलिस कोई ठोस कदम नहीं उठा रही। हो सकता है यह शराब की जहरीली खेप इनकी तरफ से ही थोक में सप्लाई की गई हो।

सरेआम बिकते हैं नशीले पदार्थ
इस संबंधित भगवान वाल्मीकि समाज के नेता राज कुमार रीटा ने बताया कि मोहल्ला जस्से वाला में पुलिस चौंकी टाऊन की नाक नीचे रोजाना कई घरों में जहरीली शराब को 40 रुपए गिलासी के हिसाब के साथ बेचा जाता है, जिसके साथ खाने के लिए सफेद मुर्गा (सफेद नमक) दिया जाता है। इसके साथ ही युवक मोटरसाइकिलों पर घर-घर नशे की सप्लाई पहुंचा रहे हैं, जो 1200 रुपए प्रति नग हैरोइन के हिसाब से कमाई करते हुए लोगों के घर तबाह कर रहे हैं। चौंकी टाऊन के कुछ मुलाजिम इस काले धंधे को बढ़ावा देने में अहम रोल अदा कर रहे हैं।


श्मशान में नहीं बची संस्कार के लिए जगह
स्थानीय अलग-अलग मोहल्लों से संबंधित मृतकों का जब शिवपुरी में अंतिम संस्कार किया जाने लगा तो वहां पर चिता जलाने के लिए जगह की कमी पाई गई, जिसके अंतर्गत कुछ मृतकों का संस्कार बिना छत से ही अलग जगह पर करने के लिए मजबूर होना पड़ा। इस दौरान श्मशानघाट में बड़ी संख्या में मृतक के रिश्तेदारों और परिवारिक सदस्यों की भीड़ नजर आई।

किसी भी आरोपी को बख्शा नहीं जाएगा: डी.आई.जी. 
इस खबर के बाद थाना सदर में पहुंचे डी.आई.जी. फिरोजपुर जोन हरदयाल सिंह मान ने बताया कि इस मामले की जांच पुलिस की तरफ से शुरू कर दी गई है। जिसके अंतर्गत किसी भी आरोपी को बख्शा नहीं जाएगा। शराब का धंधा करने वालों खिलाफ पुलिस की तरफ से छापेमारी शुरू कर दी गई है।


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