Punjab में सरकारी बसें बंद! यात्रियों की बढ़ी मुश्किलें, 15 अगस्त के बाद...

punjabkesari.in Thursday, Aug 14, 2025 - 10:55 AM (IST)

जालंधर (पुनीत): पबनस/पी.आर.टी.सी. ठेका कर्मचारी यूनियन से संबंधित 7500 कर्मचारियों ने बुधवार रात 12 बजे से हड़ताल शुरू कर दी है, जिसके चलते 14 व 15 अगस्त को 3000 के करीब सरकारी बसों का चक्का जाम रहेगा। वहीं, 15 अगस्त को यूनियन द्वारा राज्य स्तरीय आजादी कार्यक्रम में नेताओं का घेराव किया जाएगा। यूनियन द्वारा 15 अगस्त के बाद भी हड़ताल को जारी रखा जा सकता है, इसके लिए यूनियन द्वारा अगली रणनीति 15 अगस्त के रोष प्रदर्शन के बाद बनाई जाएगी। यूनियन के प्रदेश महासचिव शमशेर सिंह ढिल्लों ने कहा कि बसों के चलने की अगली तिथी के बारे में बताना अभी पक्के तौर पर नहीं कहा जा सकता। यूनियन अब आर-पार की लड़ाई लड़ने को तैयार है।

वहीं, ठेका कर्मचारियों की इस हड़ताल दौरान पक्के कर्मचारी बसें चलाएंगे। इस समय प्रत्येक डिपो में मात्र कुछ एक पक्के कर्मचारी कार्यरत्त है, जिसके चलते पूरे पंजाब में 100 बसों का परिचालन होना भी मुश्किल है। इसके चलते सफर पर जाने वाले यात्रियों को दिक्कतें और परेशानियां पेश आएगी। यूनियन द्वारा बुधवार शाम को हड़ताल की घोषणा करने के बाद लंबे रूट की बसों का परिचालन रोक दिया गया। इसके चलते पंजाब से बाहर जाने वाली बसों का परिचालन नहीं हो पाया। इसके चलते यात्रियों को निराश होकर वापस लौटना पड़ा। डिपो-2 के प्रधान सतपाल सिंह सत्ता, महासचिव रणजीत सिंह, हरजिंदर सिंह, डिपो-1 से चानण सिंह चनणा ने बताया कि हड़ताल के दौरान बस अड्डे व डिपोओं में रोष धरने दिए जाएंगे। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा उनकी मांगों को लेकर गंभीरता नहीं दिखाई जा रही, जिसके चलते वह विरोध जताने को मजबूर हैं। वहीं, किलोमीटर स्कीम की बसें डालने का विरोध जताते हुए नेताओं ने कहा कि विभाग द्वारा विरोध के बावजूद टैंडर खोले गए थे, जिससे साबित होता है कि विभाग निजीकरण को बढ़ावा दे रहा है। इसका सीधा असर आम जनता पर पड़ेगा।

जी.एस.टी. का 25 करोड़ कर्मचारियों पर खर्च हो
यूनियन नेताओं ने कहा कि पनबस-पी.आर.टी.सी. में आउटसोर्स के जरिए कर्मचारियों की सेवाएं ली जा रही है व इसके लिए प्रति वर्ष 25 करोड़ से अधिक की राशि जी.एस.टी. के तौर पर खर्च हो जाती है। सरकार कर्मचारियों को सीधा भर्ती करके जी.एस.टी. की राशि बचाकर उसे कर्मचारियों की भलाई पर खर्च करे। इससे विभाग को लाभ होगा और कर्मचारियों का शोषण बंद होगा।


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Vatika

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