Punjab का Civil Hospital खुद वेंटीलेटर पर, जमीन पर रेंग रहे मरीज, देखें तस्वीरें
punjabkesari.in Tuesday, Sep 30, 2025 - 11:12 PM (IST)

जालंधर : अकसर आपने देखा होगा, कि लोग सस्ते इलाज के लिए ज्यादातर सरकारी अस्पताल का रुख करते हैं और हर किसी की इतनी पहुंच भी नहीं होती कि वे किसी निजी अस्पताल में अपना इलाज करवा सकें। लेकिन अगर शहर का सिविल अस्पताल खुद ही वेंटीलेटर पर हो तो वहां पर मरीज की क्या हालत होगी, यह अंदाजा आप इस खबर से लगा सकते हैं। दरअसल जालंधर के सिविल अस्पताल के कुछ ऐसे दृश्य सामने आए हैं, जहां पर तड़पते मरीज जमीन पर रेंग रहे हैं और बैड की हालत देख ऐसा लग रहा है, जैसे न जाने कितने महीनों से यहां पर साफ सफाई न की गई हो।
जी हां, जालंधर के सिविल अस्पताल से कुछ चौंकाने वाली तस्वीरें सामने आई हैं, जहां पर मरीजों की हालत देख आपकी रूंह कांप जाएगी और आप कभी सरकारी अस्पताल में इलाज करवाने की सोचेंगे भी नहीं। अस्पताल की इतनी बदत्तर हालत में है कि वहां पर बैड की न तो चादरें बदली गई हैं और न ही किसी साफ सफाई का ध्यान रखा गया है। हर तरफ कूड़ा बिखरा पड़ा है। ऐसे में मरीज ठीक तो क्या होगा, उल्टा बीमार होकर घर आ जाएगा। वहीं ऐसी हालत देख, सिविल अस्पताल का स्टाफ भी कहीं नजर नहीं आ रहा। पंजाब सरकार अस्पताल प्रशासन को भारी-भरकम सैलरी देती है, लेकिन स्टाफ है, जो सिर्फ अपने मजे लिए जा रहा है, उन्हें मरीज से कोई लेना-देना नहीं होता।
इन तस्वीरों में मरीजों को जमीन पर तड़पते हुए देखा जा सकता है, जबकि अस्पताल के बेड की स्थिति इतनी खराब है कि साफ-सफाई का नामोनिशान नहीं है। बैड पर चादरें गंदी हैं, फर्श पर कचरा बिखरा पड़ा है और अस्पताल की सफाई का कोई ठोस इंतजाम नहीं दिखता। इन हालातों में मरीजों का ठीक होना लगभग असंभव है। लोग सरकारी अस्पतालों की सेवा लेने आए हैं, लेकिन उन्हें घर लौटते वक्त और भी बीमार होने का डर है।
सिविल अस्पताल के स्टाफ की अनुपस्थिति भी चिंता बढ़ा रही है। मरीजों की तकलीफ और उनकी सहायता के लिए जिम्मेदार लोग अस्पताल में मौजूद नहीं हैं। सवाल यह उठता है कि जब पंजाब सरकार कर्मचारियों को भारी वेतन देती है, तो अस्पताल में कार्यरत स्टाफ का मरीजों से कोई लेना-देना क्यों नहीं है।