300 रुपए सस्ता बिकेगा Cycle! Ludhiana से आई इस Report से मची हलचल

punjabkesari.in Monday, Sep 22, 2025 - 04:57 PM (IST)

लुधियाना: जी.एस.टी. की 5 प्रतिशत वाली नई दर 22 सितमाबर से लागू हो जाएगी और इसके तहत लुधियाना से पहले दिन 500 करोड़ से ज्यादा के साइकिल व साइकिल पार्ट्स पूरे देश में भेजे जाएंगे। इसी के साथ आम आदमी को आज से ही 300 रुपए से लेकर 700 रुपए तक सस्ता साइकिल मिलेगा। यह सब साइकिल के मॉडल और उसकी कीमत के हिसाब से तय होगा। बीती 3 सितम्बर को जब से जी.एस.टी. की दर कम करने की घोषणा की तब से साइकिल व साइकिल पार्ट्स डीलरों ने 22 सितम्बर तक के लिए आर्डर को रुकवाकर 22 सितम्बर को नई घटी हुई 5 प्रतिशत वाली दर के साथ माल की सप्लाई करने के लिए कहा गया। कंपनियों के पास 500 करोड़ से ज्यादा का साइकिल व साइकिल पार्ट्स जमा हो गया था जिसकी आज से कलीयरिंग होनी शुरू हो जाएगी।

“नई दर से साइकिल इंडस्ट्री की ग्रोथ का होना लाजिमी है, क्योंकि तैयार साइकिल की कीमत 7 प्रतिशत कम होगी। पहले जो साइकिल 12 प्रतिशत जी.एस.टी. की दर से बिकता था वो अब 5 फीसदी की दर से बिकेगा। साइकिल खरीदने वाले को आज से कम से कम 300 रुपए साइकिल सस्ता मिलेगा। आज से नई बिलिंग के साथ साइकिल की सप्लाई शुरू की जाएगी।”
-ओंकार सिंह पाहवा, सी.एम.डी. एवन साइकिल लिमिटेड

“बाजार में जो साइकिल दो नंबर में बिकता था, उसकी बिक्री पर रोक लग जाएगी, क्योंकि अब जी.एस.टी. की दर 5 प्रतिशत होने से वे चोरी नहीं कर पाएंगे। इसलिए अब असंगठित सैक्टर की बिक्री संगठित सैक्टर में शिफ्ट हो सकती है। दूसरा ग्राहक को जब साइकिल सस्ता मिलेगा तो वह उस पैसे से साइकिल की असैसरीज खरीद सकता है। इससे साइकिल पार्ट्स इंडस्ट्री की ग्रोथ भी होगी।”
-राजिंदर जिंदल, एम.डी. लीडर साइकिल

“हमें डर सिर्फ इस बात का है कि अगर सरकार ने रिफंड 15 दिनों में नहीं दिया तो आज तो सप्लाई की जा रही है, उसे भविष्य में रोकना पड़ सकता है। वजह साफ है कि इंडस्ट्री के पास इतना पैसा नहीं है कि वह अपनी कमाई को सरकार के खजाने में महीनों फंसा कर रख सके। अगर सरकार 90 प्रतिशत रिफंड को जी.एस.टी. रिटर्न भरने के 15 दिनों में दे देगी तो इंडस्ट्री जीवित रहेगी।”
-अवतार भोगल, एम.डी. भोगल संस

“जी.एस.टी. के 13 प्रतिशत के गैप को जल्द से जल्द से रिलीज करवाने के लिए केंद्रीय वित्त मंत्री से बैठक करने के लिए समय लिया जा रहा है। इस दौरान उन्हें आग्रह किया जाएगा कि 13 प्रतिशत का रिफंड रिटर्न भरने के 15 दिनों में देने के लिए सख्ती से निर्देश दिए जाएं।”
---हरसिमरजीत सिंह लक्की, प्रधान यू.सी.पी.एम.ए.
 

“जी.एस.टी. की दर कम तो हो गई है लेकिन रिफंड जारी करने वाले विभाग को अब अंडर दि टेबल दोगुना पैसे देकर रिफंड निकलवाना पड़ेगा। उदाहरण के तौर पर पहले जहां 12 प्रतिशत साइकिल पर और पार्ट्स पर 18 प्रतिशत जी.एस.टी. था तो 6 प्रतिशत का रिफंड बनता था। अब यह रिफंड 13 फीसदी हो जाएगा। यानी की रिश्वत अधिक देनी पड़ेगी। अगर सरकार ने यह सिलसिला नहीं रुकवाया तो पार्ट्स के दाम बढ़ाने पड़ेंगे।”

-चरणजीत सिंह विश्वकर्मा, एम.डी. विश्वकर्मा इंडस्ट्रीज


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Vatika

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